नाहन, 8 अगस्त : इंडियन मिलिट्री अकादमी देहरादून (Indian Military Academy Dehradun) के ट्रेनिंग विंग में कर्नल के पद पर तैनात जगत सिंह चौहान के बेटे विवेक ने सैन्य अधिकारी बनने के सपने को साकार किया है। करीब 30 साल से भारतीय सेना में सेवाएं प्रदान कर रहे कर्नल जगत सिंह चौहान ने सिपाही के रैंक से अपना कैरियर 18 साल की उम्र में शुरू किया था। इसके बाद आर्मी कैडेट काॅलेज (Army Cadet College) से होते हुए 2002 में कमीशन हासिल कर लिया।
पिता के पदचिन्हों पर चलते हुए बेटे विवेक चौहान ने दूसरी पीढ़ी का सैन्य अधिकारी बनने की ठानी थी। इसमें वो कामयाब भी हो गया है। शनिवार को ही गौरव को रक्षा मंत्रालय के जरनल ऑफ़ रिक्रूटिंग निदेशालय (General of Recruiting Directorate) से काॅल लैटर मिला। 9 अगस्त से विवेक नेशनल डिफेंस अकादमी खड़गवासला(National Defense Academy Kharagwasla) पुणे में एनडीए के 148वें कोर्स का कैडेट बनकर प्रशिक्षण शुरू करने जा रहा हैै।
बता दें कि एनडीए की परीक्षा उत्तीर्ण करने वाले विवेक की मां मोनिका चौहान शिक्षा विभाग में शिक्षिका के पद पर तैनात हैं, जबकि भाई नेशनल लाॅ यूनिवर्सिटी शिमला (National Law University Shimla) से एलएलबी की पढ़ाई कर रहा है।
गौरतलब है कि गौरव का तीन साल का प्रशिक्षण नेशनल डिफेंस अकादमी खड़गवासला में प्राप्त करेगा। इसके बाद एक साल की ट्रेनिंग आईएमए देहरादून में होगी। पोते की सफलता पर दादी चाननो देवी भी गर्व महसूस कर रही है। दसवीं तक की शिक्षा पांवटा साहिब के स्काॅलर्स होम में हासिल करने के बाद गौरव ने देहरादून में दाखिला ले लिया था।
एनडीए के 148वें कोेर्स को लेकर 14 नवंबर 2021 को लिखित परीक्षा आयोजित की गई थी। 15 नवंबर 2021 को परिणाम जारी हुआ था। 11 से 15 मार्च तक एसएसबी हुआ। 16 से 23 मार्च तक मेडिकल का सिलसिला चला। 9 अगस्त से प्रशिक्षण शुरू हो रहा है।
एमबीएम न्यूज नेटवर्क से बातचीत में कर्नल जगत सिंह ने कहा कि वो तकरीबन 30 साल से भारतीय सेना में सेवाएं दे रहे हैं। मौजूदा में दो साल के स्टडी लीव पर हैं। इस दौरान वो एचआर में एमबीए कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि गौरव ने बचपन से ही उन्हें सैन्य अधिकारी के तौर पर देखा है, लिहाजा विवेक का रूझान भी देश सेवा के प्रति बढ़ गया। पहले ही प्रयास में विवेक ने सफलता प्राप्त की है।