पांवटा साहिब, 24 फरवरी : गोल्ड का मिलना या फिर गुम होना, अपशकुन माना जाता है। ऐसे में अगर सात फेरे लेने के बाद ‘दुल्हन’ को ये पता चले कि गले से सोने की चेन गुम हो गई है तो शायद परिवार को चेन की कीमत से ज्यादा चिंता अपशकुन की रहेगी।
ऐसा ही एक वाकया गुरु की नगरी पांवटा साहिब में बाता पुल के समीप स्थित लांबा रिजोर्ट में सामने आया। लेकिन रिजोर्ट के कुशल महाप्रबंधक रवि की कोशिश से दुल्हन को खोई सोने की चेन (Gold Chain) तो हासिल हो ही गई, साथ ही अपशकुन का तनाव भी परिवार के सिर से हट गया।
बुधवार रात बद्रीपुर के परिवार ने बेटी की शादी लांबा रिजोर्ट (Lamba Resort) में रखी थी। शाम के वक्त दुल्हन की विदाई होने लगी। इस दौरान मायके पक्ष की नजर बेटी के गले पर गई। दुल्हन के गले में गोल्ड चेन नहीं थी। इसकी कीमत डेढ़ से दो लाख के बीच थी। परिवार के सदस्यों के होश उड़ चुके थे। परिवार सहित रिश्तेदारों ने भी रिजोर्ट के चप्पे-चप्पे में चेन की तलाश शुरू कर दी।
कामयाबी न मिलने पर हताश परिवार के सामने घर लौटने के अलावा दूसरा विकल्प नहीं बचा था। इसके बाद होटल प्रबंधन हरकत में आया। रात एक बजे दुल्हन के घर पर अचानक ही फोन की घंटी बजती है। काॅलर बताता है….‘हम लांबा रिजोर्ट से बोल रहे हैं…आपकी गुम हुई सोने की चेन मिल गई है….आप किसी भी वक्त चेन को ले जा सकते हैं।’ काॅल रिसीवर ने लंबी सांस लेकर धन्यवाद कहा।
चेन गुम होने का दंश मायका पक्ष के साथ-साथ दुल्हन के ससुराल वालों को भी था। माता-पिता ने कड़ी मेहनत से चेन बनवाई थी।
ऐसे मिली चेन…
रिजोर्ट के मेहमानों के चले जाने के बाद जीएम रवि ने सफाई का कार्य शुरू करवाया, ताकि सोने की चेन को ढूंढा जा सके। खास बात ये रही कि आधी रात को रिजोर्ट के कर्मचारी घर नहीं गए, बल्कि शिद्दत से चेन को ढूंढने में लगे रहे। महाप्रबंधक ने खुद सफाई के कार्य की निगरानी का जिम्मा उठाया हुआ था। प्रबंधन ने सफाई में जुटे कर्मचारियों को भी ईमानदारी की मिसाल देने के लिए प्रोत्साहित किया हुआ था। आखिर में वो कहावत चरितार्थ हुई, जिसमें कहा जाता है कि शिद्दत से कोशिश करने वालों की हार नहीं होती।
दरअसल, मामूली सा खतरा इस बात का था कि चेन मिलने पर कोई इसे अपनी ही जेब में न डाल ले। उधर, एमबीएम न्यूज नेटवर्क से बातचीत में रिजोर्ट के मालिक अवनीत सिंह लांबा ने कहा कि स्टाफ की ईमानदारी की वजह से ही सोने की चेन सही व्यक्ति तक पहुंच पाई। उनका ये भी कहना था कि माता-पिता मशक्कत से अपने बच्चों की शादी के लिए पाई-पाई जोड़ते हैं। ऐसे में सोने की ही चेन का गुम होना पीड़ादायक होता है। उधर, दुल्हन के परिवार ने रिजोर्ट के कर्मियों का आभार प्रकट किया है।