शिमला, 10 अगस्त : हिमाचल प्रदेश में बीते तीन वर्षों में बिजली विभाग के 26 कर्मचारियों की करंट लगने से जान गई है। इन कर्मचारियों की सेवा के दौरान करंट लगने से मृत्यु हुई है। जुब्बल कोटखाई के विधायक रोहित ठाकुर के सवाल के लिखित जवाब में ऊर्जा मंत्री सुखराम चौधरी ने मंगलवार को विधानसभा में यह जानकारी दी।
उन्होंने बताया कि मृतक कर्मचारियों के आश्रितों को मुआवजे के रूप में 2.46 करोड़ की राशि वितरित की जा चुकी है। इन आश्रितों के 11 करूणामूलक मामले लंबित पड़े हैं। इनमें दो मामलों में नियुक्ति पत्र अगले 10 दिन में जारी कर दी जाएगी, जबकि तीन अन्य मामलों में अभ्यर्थियों को 17 अगस्त को टाइपिंग टेस्ट के लिए बुलाया गया है। शेष छह मामलों में संपूर्ण दस्तावेजों की उपलब्धता न होने की वजह से वांछित दस्तावेज फील्ड दफ्तरों के जरिए प्रार्थियों से मांगे गए हैं। पूरे दस्तावेज मिलने पर आगामी कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।
सोलन के विधायक कर्नल धनी राम शांडिल के सवाल के लिखित जवाब में शिक्षा मंत्री गोविंद सिंह ठाकुर ने बताया कि प्रदेश के निजी विश्वविद्यालयों में हिमाचलियों को रोजगार और यूजीसी पे स्केल देने के मापदंड पूरे किए जा रहे हैं। राज्य में संचालित 17 निजी विश्वविद्यालयों में से 15 निजी विवि में तृतीय व चतुर्थ पदों पर 80 फीसदी हिमाचलियों को रोजगार दिया गया है।
उन्होंने कहा कि निजी विश्वविद्यालयों में शैक्षणिक स्टाफ को यूजीसी नॉर्म्स के तहत वेतन प्रदान किया जा रहा है। मानव भारत विवि में एसआईटी जांच की वजह से इस विवि के कर्मचारियों को निश्चित रकम का वेतन दिया जा रहा है।