शिमला, 10 नवंबर : हिमाचल कंसलटेंसी आर्गेनाईजेशन (हिमकाॅन) द्वारा अनुसूचित जाति के उम्मीदवारों के लिए संचालित किए गए कौशल विकास कार्यक्रम में लाखों रुपए के गबन का मामला सामने आया है। अहम बात यह है कि फर्जी रिकाॅर्ड को हिमकाॅन द्वारा ही तैयार किया गया था।
इसको लेकर स्टेट विजिलेंस व एंटी क्रप्शन ब्यूरो ने आईपीसी की धारा-420, 467, 468, 471 व 120बी के तहत मामला दर्ज किया है। जांच में पाया गया कि 2013 से 2014 तक निरमंड, करसोग, पद्धर के बडौत व नेरवा में फल प्रसंस्करण प्रशिक्षण कार्यक्रम चलाए गए थे। इसके लिए राष्ट्रीय अनुसूचित जाति वित्त एवं विकास निगम लिमिटेड द्वारा 7 लाख रुपए की राशि भी स्वीकृत की गई थी। जांच में पाया गया कि इन प्रशिक्षण कार्यक्रमों में कई प्रतिभागी काल्पनिक हैं। निगम से हिमकाॅन द्वारा धन का दावा करने के लिए झूठा रिकाॅर्ड तैयार किया गया।
इसके अलावा प्रतिभागियों को वजीफे का भुगतान भी नहीं किया गया और न ही प्रतिभागियों को कोई प्रशिक्षण प्रमाणपत्र प्रदान किया गया था। बता दें कि ये दर्शाया गया था कि प्रतिभागियों को ट्रेनिंग हिमकाॅन द्वारा प्रदान की गई है। हरेेक केंद्र में 25-25 प्रतिभागियों को प्रशिक्षण प्रदान करने का रिकाॅर्ड भी दर्शाया गया था।