नाहन, 29 दिसंबर : सिरमौर के धारटीधार क्षेत्र से पहली एमबीबीएस ((MBBS) बनने का गौरव हासिल कर चुकी डाॅ. नम्रता चौधरी ने एम्स (AIIMS) द्वारा राष्ट्रीय स्तर पर आयोजित की जाने वाली INICET की परीक्षा में भी अपनी काबलियत को दोबारा साबित किया है। शिलाई में करीब साढे़ 3 साल तक चिकित्सक के तौर पर सेवाएं देने वाली डाॅ. चौधरी ने कड़ी मेहनत से इस परीक्षा को उत्तीर्ण किया है। अब वो पीजीआई चंडीगढ़ में मनो चिकित्सा में एमडी की पढ़ाई करेगी।
खास बात यह है कि इस पढ़ाई को पूरा करने के बाद डाॅ. चौधरी ऐसे रोगियों के जीवन में रोशनी लाएगी जो मानसिक तौर पर बीमार हों। डाॅ. चौधरी की सफलता पर समूचे धारटीधार में खुशी की लहर है। डाॅ. नम्रता ने इसका श्रेय अपने माता-पिता की प्रेरणा को दिया है। ग़ौरतलब है कि डाॅ. नम्रता के पिता डाॅ. नरेश चौधरी का संबंध जंगलोट गांव से है। माता संगीता चौधरी शिक्षा विभाग में प्रवक्ता के पद पर कार्यरत है।
डाॅ. नम्रता ने एमबीबीएस की पढ़ाई टांडा मेडिकल काॅलेज से पूरी करने के बाद शिलाई में बतौर चिकित्सा अधिकारी अपना कैरियर शुरू किया। भाई डाॅ. कार्तिक पालमपुर से बैचलर ऑफ़ वैटर्नरी साईंस की पढ़ाई करने के बाद पीजी की पढ़ाई एनिमल न्यूट्रिशियन में एनडीआरआई करनाल से कर रहा है। कुल मिलाकर बेटे व बेटी ने माता-पिता के संस्कारों व शिक्षकों की प्रेरणा व हौंसला अफजाई से अपने कैरियर में मुकाम पाया है।