कुल्लू (नीना गौतम): भारी बर्फबारी के बाद माईनस 10 डिग्री के तापमान में सीमा सड़क संगठन के जवानों ने रोहतांग दर्रा बहाल करने में कामयाबी हासिल की है। बीआरओ के जवानों ने कड़ी मुशक्त के बाद तेज बर्फानी हवा के बीच रोहतांग दर्रा पर फतह पाई है। इसी के साथ बीआरओ के जवानों में जहां खुशी का माहौल है वहीं कोकसर में बर्फबारी के बीच फंसे लोगों ने भी राहत की सांस ली है। अब फंसे लोगों को घर पहुंचने की उम्मीद बन गई है।
बुधवार सांय बीआरओ के जवानों ने ट्रायल के तौर पर अपने वाहन रोहतांग दर्रा आर-पार किए और मार्ग पास करने के बाद प्रशासन को फंसे लोगों को गुरूवार सुबह मनाली पहुंचाने के लिए हरी झंडी दे दी है। बताया जा रहा है कि कोकसर से केलांग के बीच 100 से अधिक वाहन फंसे हुए हैं।
गुरूवार को कोकसर व कोकसर से लेकर केलांग तक फंसे सभी लोगों व वाहनों को मनाली पहुंचाया जाएगा। इसके बाद शुक्रवार को मनाली में फंसे लोगों को रोहतांग मार्ग द्वारा केलांग पहुंचाया जाएगा। इस बीच यदि मौसम ठीक रहा तो लाहुल स्पीति के लोग कुछ दिनों तक रोहतांग दर्रा से आवागमन कर पाएंगे।
उधर सात दिनों के बाद कोकसर में फंसे लोग अपनों से मिल पाएंगे। हालांकि माना जा रहा था कि बुधवार सांय तक यह लोग मनाली पहुंच पाएंगे लेकिन बुधवार को बीआरओ व प्रशासन ने देर सांय मार्ग बहाली में कामयाबी हासिल की है जिस कारण रिस्क नहीं लिया और गुरूवार को सभी फंसे लोगों को बाहर निकाला जाएगा। लिहाजा कोकसर में फंसे लोगों को अभी रेस्क्यू नहीं किया जा सका है और अब गुरूवार को फंसे लोगों को बर्फ के कारावास से आजादी मिलने की उम्मीद जग गई है।
अब फंसे लोगों को गुरूवार सांय तक अपनों से मिलने का इंतजार करना पड़ेगा। बर्फानी तूफान के कारण बीआरओ के जवानों को रोहतांग दर्रा बहाल करने में कड़ी मुुशक्त करनी पड़ी हैं। जिस कारण कोकसर में फंसे सभी लोग वहीं सुरक्षित है। हालांकि बीआरओ के जवान बर्फ काटते हुए मंगलवार को ही रोहतांग टॉप पर पहुंच गए थे लेकिन मनाली की तरफ से रोहतांग दर्रा तक बर्फ हटाने में बर्फानी तुफान अडंग़ा बन रहा था। जिस कारण कोकसर में फंसे लोग छह दिनों तक रेस्क्यू नहीं हो पाए हैं। सभी पर्यटक कोकसर में ही सुरक्षित हैं और प्रशासन ने उनके खाने- पीने व ठहरने की व्यवस्था कर रखी है हालांकि बीआरओ के जवानों का लक्ष्य मंगलवार सांय तक रोहतांग दर्रा बहाल करने का था लेकिन दर्रा में तेज हवा ने बीआरओ के कदम रोक दिए।
उपायुक्त लाहौल- स्पीति देवा सिंह नेगी ने बताया कि रोहतांग दर्रा बहाल कर दिया गया है और गुरूवार सांय तक रोहतांग दर्रा होते हुए सभी फंसे लोगों को बाहर निकाल दिया जाएगा उन्होंने बताया कि जो लोग फंसे हैं अधिकतर लोग वाहनों के साथ हैं जिस कारण वे मार्ग बहाल होने के बाद ही कोकसर से बाहर निकल पाएगें उन्होंने बताया कि सभी फंसे लोग सुरक्षित हैं और चिंता करने की कोई जरूरत नहीं है। उधर मयाड़ घाटी में फंसी बारात दुल्हन के साथ घर पहुंच गई है क्योंकि लाहौल -स्पीति के अंदर छोटे वाहनों के लिए बहाल हो गया है ।
गौर रहे कि भारी बर्फबारी के कारण कोकसर में रोहतांग दर्रा बंद होने के चलते पर्यटक फंस गए थे। पर्यटन स्थल रोहतांग दर्रा बंद होने से लाहौल- स्पीति देश के अन्य भागों से कट गया है। अगले छ: महीने तक लाहुल देश के अन्य भागों से कट गया है लेकिन बीआरओ के जवान मार्ग बहाल कर लाहौल वासियों को कुछ हद तक राहत दे सकते हैं । बीआरओ के जवानों द्वारा रोहतांग दर्रा बहाल कर दिया गया है। गुरूवार को सभी फंसे हुए लोगों को मनाली पहुंचा दिया जाएगा। उसके बाद शुक्रवार को मनाली में फंसे लोगों को केलांग पहुंचाया जाएगा।