मंडी, 24 दिसंबर : नागरिक अस्पताल सरकाघाट के पुराने भवन के साथ बन रहे नए भवन निर्माण के कारण जलशक्ति विभाग का टैंक गिरने से अस्पताल के पुराने भवन का एक कमरा जो कोविड वार्ड बनाया गया था गत रात्रि पूरी तरह से तबाह हो गया। घटना से अस्पताल में दाखिल रोगियों में अफरा-तफरी का माहौल हो गया। मरीज़ों और उनके तीमारदारों में हड़कंप मच गया और वे अपने सामान और रोगियों के साथ अस्पताल के आंगन में इस कड़कती सर्दी में जान बचाने पहुंच गए।
जानकारी के मुताबिक अस्पताल के पुराने भवन के पीछे 12 करोड़ रुपए की लागत से एक नए भवन का निर्माण कार्य चल रहा है। इस भवन निर्माण के लिए अस्पताल के साथ लगती पहाड़ी की खुदाई की गई थी लेकिन खुदाई दो वर्ष पहले हुई थी और पहले वाला ठेकेदार काम छोड़ कर चला गया है। जिसके बाद नए ठेकेदार को निर्माण कार्य का टेंडर जारी किया गया था। निर्माण कार्य भी जोरों से चल रहा था। लेकिन इस टैंक और पहाड़ी की दरकती ज़मीन की ओर किसी ने भी कोई खास तबज्जो नही दी। हालांकि इस टैंक जो अस्पताल के उपर निर्मित किया गया था के गिरने का अंदेशा सभी को था। लेकिन ठेकेदार द्वारा अपना काम जारी रखा गया और इस टैंक को गत दिन उस समय खाली कराया गया जब यह नीचे की ओर दरकने लगा। टैंक को खाली कराक अस्पताल के डॉक्टर और कर्मचारी अस्पताल बन्द होने पर अपने घरों को चले गए तथा आपातकालीन डयूटी पर तैनात स्टाफ ही अस्पताल में मौजूद था। अ
स्पताल के साथ-साथ केमिस्ट की दुकान कर रहे व्यापारियों का कहना है कि पहले पहाड़ी पर प्रोटेक्शन वाल लगनी चाहिए थी और उसके बाद ही निर्माण कार्य आरम्भ किया जाता। लेकिन निर्माण कार्य पहले ही शुरू हो गया। जब रात को यह हादसा हुआ तो बड़े जोर के धमाके के साथ टैंक करीब 150 फुट की ऊंचाई से गिरा और उसके बाद अस्पताल का एक कमरा और ठेकेदार की 60 लाख रुपए की मशीन बुरी तरह नष्ट हो गए। इस बारे अस्पताल के वरिष्ठ चिकित्सा अधिकारी डॉ पी एल वर्मा ने बताया कि उन्हें हादसे के समय ही सूचना मिली थी और उन्होंने सबसे पहले रोगियों और उनके तीमारदारों की सुरक्षा की।
उनके अनुसार अस्पताल का एक कमरा बुरी तरह से नष्ट हो गया है और उन्होंने घटना बारे उच्चाधिकारियों को सूचित कर दिया है। वहीं लोक निर्माण विभाग मंडल सरकाघाट के अधिशासी अभियंता विनोद शर्मा ने बताया कि उन्होंने ठेकेदार को इस बारे पहले ही अवगत करवा दिया गया था और ठेकेदार अस्पताल भवन को हुए नुकसान की भरपाई करेगा और जलशक्ति विभाग को भी नया टैंक बनाकर देगा।इधर एस डी एम ज़फ़र इक़बाल ने बताया कि वे इस घटना के बहुत दुखी हैं और सारे मामले की जांच के आदेश जारी कर दिए हैं।
जाको राखे साईयां, मार सके न कोई
अस्पताल में इस घटना से एक घंटा पहले एक डिलीवरी हुई थी और जच्चा-बच्चा 15 मिनट पहले ही अपने घर चले गए थे और क्षतिग्रस्त कमरे के साथ ही प्रसूति कक्ष है।”