कुनिहार(दीपक चौधरी): पिछले 76 दिनों से जेपी कम्पनी में हड़ताल पर बैठे ट्रांसपोर्टर्स के लिए ख़ुशी की खबर है क्योंकि देश के प्रधानमंत्री ने उनके इस गम्भीर मुद्दे पर प्रदेश के मुख्य सचिव को उचित कार्यवाही करने के निर्देश दिए हैं। प्रदेश की स्वयं सेवी संस्था संभव चेरिटेबल सोसायटी ने प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी को जेपी में चल रहे आंदोलन व तनावपूर्ण स्थिति को एक पत्र के माध्यम से अवगत करवाया। वंही प्रधानमंत्री ने मामले की गम्भीरता को समझते हुए तत्काल कार्यवाही करते हुए प्रदेश सरकार को उचित कार्यवाही करने को कहा है।
गौरतलब है कि जेपी कम्पनी ने ट्रांसपोर्टरों का 30 करोड़ रुपये माल ढुलाई के नहीं दिए है जिसको लेकर कम्पनी में पिछले 76 दिनों से ट्रक ऑपरेटर आंदोलन कर रहे हैं , पिछले दो दिनों से ऑपरेटर अपने परिवारों सहित आमरण अनशन पर बैठ गए है। बता दें कि कम्पनी में लगी गाड़ियों को खड़े 76 दिन हो चुके हैं और 4000 ट्रक ओपरेटर एवं उनके परिवार जो अर्की क्षेत्र की 42 पंचायतो व बिलासपुर की 10 पंचायतो से हैं, बुरी तरह से प्रभावित हुए हैं। हांलाकि इससे पहले भी प्रभावित ट्रक ऑपरेटर प्रदेश के मुख्यमंत्री व बड़े- बड़े नेताओं के समक्ष इस मुद्दे को रख चुके है लेकिन उन्हें वहां से सिवाय आश्वासन के अलावा कुछ भी हासिल नहीं हुआ है।
चेरिटेबल सोसायटी की अध्यक्षा कौशल्या कंवर ने एक प्रैस वार्ता में जानकारी देते हुए बताया कि जेपी मुद्दे पर सरकार व प्रशासन का नकारात्मक रवैया देखते हुए संस्था ने ट्रांसपोर्टर्स के इस मुद्दे को प्रधानमंत्री के समक्ष रखा और उन्होंने प्रधान मंत्री का आभार जताते हुए कहा कि उनके हस्तक्षेप से आंदोलन पर बैठे उन हजारो ट्रक ऑपरेटरों को जरूर फायदा मिलेगा। कौशल्या कंवर ने कहा कि सम्भव संस्था सभी ट्रक ऑपरेटरों के साथ है, जब तक उन्हें कम्पनी द्वारा बकाया राशी नहीं मिलेगी। उन्होंने आगे बताया कि हम मुख्य सचिव के द्वारा की जाने वाली कार्यवाही का इंतजार कर रहे हैं उसके बाद ही संस्था अगला कदम उठाएगी।
वहीं प्रभावित ट्रक ऑपरेटरों ललित चौधरी, पूर्ण चौधरी, हरदेव ठाकुर, दीपेंदर कुमार, मुकेश कुमार, अश्वनी राजपूत, बंटी आदि ने सम्भव चेरिटेबल सोसाइटी का धन्यवाद करते हुए कहा कि इस दुख की घड़ी में सोसाइटी ने हमदर्दी दिखाते हुए जो कार्य किया है उसके लिए वे सदैव उनके ऋणी रहेंगे। उक्त ट्रांसपोर्ट्स ने कहा कि जो कार्य प्रशासन और प्रदेश सरकार को करना चाहिए था वह सम्भव चेरिटेबल सोसाइटी ने कर दिखाया है।