मंडी (वी.कुमार) : कल से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर जाने की सोच रहे ग्रामीण रोजगार सेवकों को ग्रामीण विकास मंत्री अनिल शर्मा ने दो टूक चेतावनी दी है। मंत्री ने कहा है कि अगर हड़ताल पर गए तो फिर सेवाएं समाप्त करके नई भर्ती कर दी जाएगी। बता दें कि हिमाचल प्रदेश में एक हजार से भी अधिक ग्रामीण रोजगार सेवक मनरेगा के तहत नियुक्त किए गए हैं। सभी ग्रामीण रोजगार सेवक सरकार से नियमितिकरण की मांग उठा रहे हैं और नियमितिकरण में तीन साल की छूट देने की गुहार भी लगा रहे हैं। इसके साथ ही ग्रामीण रोजगार सेवक मानदेय में बढ़ोतरी और पंचायत सचिव के पद का दर्जा देने की मांग भी उठा रहे हैं।
मंत्री अनिल शर्मा के अनुसार इनके लिए कोई नीति नहीं थी लेकिन राज्य सरकार ने इन्हें दैनिक भोगी बनाया और अब इन्हें अनुबंध के दायरे में लाने और फिर नियमित करने का भी प्रयास किया जा रहा है। गत वर्ष भी ग्रामीण रोजगार सेवक अपनी मांगों को लेकर हड़ताल पर गए थे जिसके बाद मनरेगा के कार्यों पर काफी विपरित प्रभाव पड़ा था, क्योंकि मनरेगा के कार्य यही ग्रामीण रोजगार सेवक देखते हैं। अब एक बार फिर से यह ग्रामीण रोजगार सेवक कल से हड़ताल पर जाने की सोच रहे हैं। ऐसे में ग्रामीण विकास मंत्री ने इन्हें दो टूक शब्दों में चेतावनी दे दी है कि अगर हड़ताल पर गए तो सरकार कड़ा कदम उठाएगी और इनकी सेवाओं को समाप्त करके नई भर्ती भी की जा सकती है।
मंत्री ने ग्रामीण रोजगार सेवकों को निदेशक के साथ बैठक करके अपनी मांगों पर चर्चा करने की सलाह भी दी है। अनिल शर्मा ने कहा कि अगर ग्रामीण रोजगार सेवक अपनी मांगों पर अड़े रहे तो फिर सरकार सख्त कदम उठाने के लिए बाध्य हो जाएगी।