शिमला: वैसे तो हिमाचल के बिंदास आईएएस अधिकारी यूनुस की उपलब्धियां बेशुमार हैं, लेकिन एक उपलब्धि ऐसी भी है, जिसको लेकर स्वतंत्रता दिवस के मौके पर मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने उन्हें सिविल सर्विस अवार्ड से अलंकृत किया है। लाज़मी तौर पर आप यह सोच रहे होंगे कि वो कौन सी उपलब्धि है।
दरअसल आईएएस अधिकारी यूनस सितंबर 2018 में कुल्लू में बतौर जिलाधीश तैनात थे। 23 -28 सितंबर बीच एक ऐसा रेस्क्यू ऑपरेशन “वाइट माउंटेन्स ” चलाया गया था। जिसकी चर्चा मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की चुनावी रैलियों में भी की थी। इस ऑपरेशन में बर्फ के बीच फंसे 252 लोगों को भारतीय वायु सेना के पांच एयरक्राफ्ट के माध्यम से लिफ्ट किया गया था।
एयरलिफ्ट किए गए 98 पर्यटकों को कुल्लू में एडवांस मेडिकल सुविधा भी प्रदान की गई थी। इसके अलावा 3669 लोगों को रोहतांग सुरंग के माध्यम से निकाला गया था। इसमें 207 विदेशी सैलानी भी थे। बर्फ में फंसे लोगों के लिए 4000 फूड पैकेट्स भी ड्रॉप किए गए थे। इसके अलावा दवाओं को भी पहुंचाने की व्यवस्था की गई थी।
हालात इतने खराब थे कि मामूली सी देरी व चूक पर अनमोल जीवन जा भी सकते थे। हालांकि बारिश व बाढ़ से चार लोगों की मौत भी हुई थी, क्योंकि बारिश के साथ-साथ भारी बर्फबारी हुई थी। लिहाजा हाईवे के साथ संपर्क मार्ग भी अवरुद्ध हो गए थे। सैलानियों व रोहतांग घाटी में फंसे अन्य लोगों को सफलतापूर्वक निकालने के पूरे ऑपरेशन का नेतृत्व जिलाधीश यूनुस ने खुद संभाला हुआ था। वह प्रभावित इलाकों में खुद के जीवन की परवाह किए बगैर भी मोर्चा संभाले रहे।