शिमला (शैलेंद्र कालरा): चुनाव आचार संहिता लागू होने से पहले भाजपा पूरे आत्मविश्वास में थी, समय रहते ही टिकटों की सूची जारी हो जाएगी। नैना देवी के बाद चंडीगढ़ की बैठक भी कर ली गई, मगर जब धरातल पर पहुंचे तो पार्टी के शीर्ष नेताओं ने ही बगावत को लेकर भौंहें तान ली। अब तक की खबर के मुताबिक पूर्व ट्रांसपोर्ट मंत्री किशन कपूर ने भी टिकट न मिलने की सूरत में बगावत करने का फैसला ले लिया है।
20 अक्तूबर को नामांकन भरने के संकेत दिए हंै। भाजपा ने कुछ समय पहले ही इस हलके में गद्दियों पर लाठीचार्ज को लेकर खासी राजनीति की थी, लेकिन अब उसी समुदाय का नेतृत्व करने वाले कपूर का टिकट कटने के संकेत दिए जा रहे हैं। यहां पहले भाजयुमो के नेता उमेश दत्त का नाम सामने आया, फिर भाजपा महिला मोर्चा अध्यक्षा इन्दू गोस्वामी का टिकट फाइनल होने की खबर मिल रही है।
सनद रहे कि बिलासपुर में रिखी राम कौंडल ने साफ लहजे में पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा देने का ऐलान कर दिया है। झंडूता के मौजूदा विधायक कौंडल ने सोमवार को ही कह दिया था कि अगर पार्टी ने फैसला नहीं बदला तो निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर चुनाव लडेंगे। वहीं कुल्लू में पूर्व वन मंत्री खीमी राम का टिकट काट कर सुरेंद्र शौरी को दिया जा रहा है। इसके बाद खीमीराम शर्मा ने भी ऐलान किया है कि टिकट नहीं मिला तो बंजार हलके से आजाद प्रत्याशी के तौर पर चुना लडेंगे।
उधर कांगड़ा के फतेहपुर निर्वाचन क्षेत्र में भी भाजपा को बगावत के संकेत मिले हैं। यहां से भाजपा चाहती है, पूर्व राज्यसभा सांसद विपिन परमार को उतारा जाए। लेकिन 2012 के विधानसभा चुनाव में पार्टी के प्रत्याशी रहे बलदेव ठाकुर के समर्थकों ने जोरदार विरोध शुरू कर दिया है। खबर यह भी है कि आज नारेबाजी भी हुई। पिछला चुनाव कांग्रेस के कृषि मंत्री सुजान सिंह पठानिया ने 36.67 प्रतिशत वोट हासिल कर जीता था। जबकि भाजपा के बलदेव ठाकुर को 22.49 प्रतिशत वोट पड़े थे।
उधर सिरमौर के रेणुका विधानसभा क्षेत्र में पूर्व विधायक हिरदा राम व एक मर्तबा पार्टी के प्रत्याशी रह चुके बलबीर चौहान भी आमने-सामने हैं। दोनों ने सोशल मीडिया में अपना प्रचार भी शुरू कर दिया है। वहीं शिलाई हलके में बीर सिंह राणा भी निर्दलीय के तौर पर मैदान में उतरने की फिराक में हैं। राणा के करीबियों का कहना है कि पार्टी के एक शीर्ष नेता ने ही दिल्ली ले जाकर उन्हें टिकट दिलवाने का आश्वासन दिया था। पांवटा साहिब विधानसभा क्षेत्र में पूर्व सीपीएस सुखराम चौधरी व पार्टी के सक्रिय नेता मदन मोहन शर्मा के बीच भी टिकट की जंग चल रही है।