हरिपुरधार (मनीष ठाकुर): अकसर संकीर्ण व जोखिमपूर्ण सडक़ों पर एचआरटीसी चालकों की ड्राईविंग चर्चा में आती है। लेकिन शायद ही कोई जानता हो कि विद्युत बोर्ड के कर्मी भी जान की परवाह किए बगैर अपनी डयूटी मुस्तैदी से करते हैं। यहां तक की माइनस 5 डिग्री से 11 डिग्री तापमान में भी जुटे रहते हैं।
गहरी खाई के ऊपर तार दुरुस्त करता कर्मी।यह भी दीगर है, जिस स्थान पर बिजली बोर्ड के ये जांबांज कर्मी डयूटी कर रहे हैं, उस जगह की समुद्रतल से ऊंचाई लगभग साढ़े 8 हजार फीट है। एमबीएम न्यूज नेटवर्क को विद्युत कर्मियों की डयूटी करते ऐसी तस्वीरें मिली हैं, जो दंग करने वाली थी।
एक तस्वीर में बिजली बोर्ड का कर्मी लगभग 12 फुट ऊंचे खंबे पर चढ़ा हुआ है। दूसरी तरफ गहरी खाई है। मामूली सा भी संतुलन बिगड़े तो जान पर बन सकती थी। इसके अलावा कर्मी व स्थानीय लोग बिजली की तारों को खींचते नजर आ रहे हैं। यहां भी फिसलन भरी ढलान है। मतलब साफ है, संतुलन बिगड़ा तो जान की आफत। बावजूद इसके डटे हुए हैं।
12 फुट ऊंचे पोल पर चढ़ा विद्युत कर्मी।बताते हैं कि बर्फबारी के दौरान कर्मचारियों की डयूटी की इस तरह की बात सामान्य है। लेकिन पहली बार चौंकाने वाली तस्वीरें सामने आई हैं। दरअसल हरिपुरधार के साथ लगते शिमला जिला के कुपवी की 14 पंचायतों में दो सप्ताह से बर्फबारी के कारण बिजली गुल है। यह एक ऐसा इलाका है, जिसे कालापानी भी कहा जाए तो कोई अतिश्यिोक्ति नहीं है। पंचायतों में बिजली गुल होने से लगभग 22 हजार की आबादी प्रभावित हो रही है।
खड़ी ढलान पर तारें खींचते बोर्ड के कर्मी।इलाके में बर्फबारी से पहले अनाज का कोटा भी नहीं पहुंच पाया है। बिजली बोर्ड के चंद कर्मचारी जान जोखिम में डाल कर कम से कम प्रभावित लोगों को बिजली उपलब्ध करवाने की कोशिश में लगे हुए हैं। यह तस्वीरें हरिपुरधार से लगभग 8 किलोमीटर दूर कुपवी मार्ग पर ली गई हैं। कुल मिलाकर बर्फबारी में बिजली बोर्ड के कर्मियों की साहसिक डयूटी को सेल्यूट करना होगा।