वीरभद्र सिंह ने इस अवसर पर पीडित मानवता की सेवा के लिए 100 या इससे अधिक रक्तदान करने वाले के लिए दस व्यक्तियों तथा सामाजिक सेवा एवं साहित्यिक क्षेत्र में सर्जन के लिए 25 लोगों को सम्मानित किया गया।
उन्होंने इस अवसर पर विख्यात पहाड़ी लोक गायक प्रताप शर्मा को भी सम्मानित किया। प्रताप शर्मा ठंडी-ठंडी हवा जे झुलदी, झुलदे चीलां दे डालू, जीणा कांगड़े दा तथा दो नारां, लश्कदियाँ तलवारां जैसे गीतों के लिए प्रसिद्ध हैं।
मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह ने इस अवसर पर पहाड़ी कवि नवीन हल्दूनवी की पुस्तक माहौल बिगाड़ी ता, डॉ. विजय पुरी की त्रैमासिक पत्रिका सृजन सरिता, फिरोज कुमार रोज की करियर निर्देशिका, आशा शैली की शैल सूत्र, समीक्षक, लेखक, कवि तथा कलाकार डॉ. सुशील हसरत नरेलवी की गजल मजमूआ तथा हिमाचल फोक्स की कृतियों का विमोचन किया।
उन्होंने इस अवसर पर चनुभान बावला की बेटियों को समर्पित 10 गुणा160 फुट की लम्बी कविता का विमोचन भी किया। इस अवसर पर हिमुडा ने मुख्यमंत्री राहत कोष में 21 लाख रुपये तथा कांगड़ा केन्द्रीय सहकारी बैंक (केसीसीबी) के कर्मचारी संघ ने एक लाख रुपये के चैक वीरभद्र सिंह को भेंट किए।
इस अवसर पर आयोजित काव्य गोष्ठी में राज्य तथा प्रदेश से बाहर के करीब 25 कवियों ने कविता पाठ किया।
समारोह में अन्यों के अतिरिक्त सीपीएस जगजीवन पाल, कांगड़ा सहकारी बैंक के अध्यक्ष जगदीश सपहिया, हि.प्र. स्कूल शिक्षा बोर्ड के अध्यक्ष बलवीर तेगटा, वन निगम के उपाध्यक्ष केवल सिंह पठानिया, पूर्व मंत्री सत्य प्रकाश ठाकुर, पूर्व विधायक सुरेन्द्र काकू तथा बोधराज, उपायुक्त सीपी वर्मा, एस.पी. संजीव गाँधी सहित तमाम गणमान्य लोग उपस्थित थे।