नेरचौक (कपिल सेन): गुरूवार सुबह नवजात बच्ची को लावारिस छोडऩे का मामला सामने आया है। गुरूवार सुबह 9 बजे बल्ह पुलिस थाने को किसी अज्ञात व्यक्ति ने फोन किया कि नेरचौक ट्रक यूनियन के पास बने एक खोखे में नवजात बच्ची पड़ी है। पुलिस तुरंत मौके पर पहुंची, नवजात बच्ची को कब्जे में लेकर फौरन ही रैफरल अस्पताल रत्ती पहुंचाया गया। चिकित्सकों ने बिटियां की जांच कर पाया कि उसका जन्म अस्पताल पहुंचने से दो घंटे पूर्व ही हुआ है। जांच करने पर बच्ची का स्वास्थ्य ठीक पाया गया है। पुलिस ने इस सम्बंध में भारतीय दण्ड संहिता की धारा 317 के तहत मामला दर्ज कर कार्रवाही शुरू कर दी है। कार्रवाही में पुलिस ने प्राथमिक तौर पर जांच पड़ताल शुरू कर दी है कि नवजात बच्ची को किसने आखिर लावारिस छोड़ दिया है। पुलिस बेरहम माँ की पहचान के लिए आस-पास के क्लिनिक, नर्सिंग कॉलेज आदि की छानबीन करने में जुटी है।
वहीं जब घाटी के लोगों को नवजात बिटियां के लावारिस मिलने की खबर से क्षेत्र में सनसनी फैल गई। मां की ममता को ठेस पहुंचाने वाले इस कृत्य से बल्ह घाटी शर्मसार हो गई है। जहां एक ओर लाडलियों को मान-सम्मान व लडक़े के बराबर दर्जा प्रदान करने के लिए सरकार व प्रशासन द्वारा मेरी लाडली अभियान चलाया गया है। जिसमें बल्ह की जनता विशेष भागीदारी निभा अभियान को सफल बनाने में लगी हुई है। वहीं दूसरी ओर बेरहम मां के इस कृत्य से पूरी बल्ह घाटी अपने को शर्मसार महसूस कर रही है।
बाल कल्याण समिति के अध्यक्ष चन्द्र सिंह ठाकुर ने बताया कि जैसे ही लावारिस बच्ची मिलने की सूचना मिली तो वह अपनी टीम सहित रैफरल अस्पताल रत्ती पहुंचे। जहां बच्ची के स्वास्थ्य की जांच के बाद चिकित्सकों के मुताबिक बच्ची स्वस्थ है। बच्ची को पालन पोषण हेतु पुलिस सुरक्षा और बाल संरक्षण ईकाई की देख-रेख में शिमला भेजा जा रहा है।
रैफरल अस्पताल के डॉ. आर.डी. आनन्द ने कहा कि नवजात बच्ची की चिकित्सीय जांच में स्वास्थ्य ठीक पाया गया है। नवजात को पुलिस व बाल संरक्षण ईकाई को पालन-पोषण के लिए सौंप दिया गया है।
थाना प्रभारी बल्ह संजीव सूद ने कहा कि लावारिस बच्ची मिलने के सम्बन्ध में मामला दर्ज कर पुलिस की कार्रवाही जारी है। संदिग्धों, स्थानों व महिलाओं से पूछताछ कर मामले का पटाक्षेप किया जाएगा कि नवजात बच्ची के निर्दयी मां-बाप कौन है।