नाहन, 5 जुलाई : शैक्षणिक कौशल को बढ़ाने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए, केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (CBSE) ने अरिहंत इंटरनेशनल स्कूल, (Arihant International School) नाहन में कहानी सुनाने पर क्षमता निर्माण कार्यक्रम आयोजित किया। इस कार्यक्रम में न केवल मेजबान स्कूल के ही नहीं, बल्कि सिरमौर जिला व हरियाणा (Haryana) के विभिन्न स्कूलों के शिक्षकों ने भी उत्साहपूर्वक भाग लिया।
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इस कार्यक्रम का उद्देश्य शिक्षकों को प्रभावी कहानी सुनाने की तकनीकों से सशक्त बनाना था, ताकि कक्षाओं में रचनात्मकता और जुड़ाव को बढ़ावा दिया जा सके। कहानी सुनाना, एक शक्तिशाली शैक्षिक उपकरण के रूप में पहचाना जाता है, जो छात्रों के भाषा कौशल, कल्पना और भावनात्मक बुद्धिमत्ता को विकसित करने में मदद करता है। संसाधन व्यक्ति निधि राणा (पूर्व प्रिंसिपल आरएपीवीएस) और जया भारद्वाज (प्रिंसिपल हंसराज पब्लिक स्कूल, पंचकूला) ने इंटरैक्टिव सत्र और कार्यशालाएं आयोजित की।
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प्रतिभागियों को पारंपरिक मौखिक कहानी सुनाना, डिजिटल कहानी सुनाना और विभिन्न विषयों में कहानियों को शामिल करने सहित विभिन्न कहानी सुनाने के तरीकों से परिचित कराया गया। व्यावहारिक अभ्यास और सहयोगात्मक गतिविधियों ने शिक्षकों को व्यावहारिक अनुभव प्राप्त करने और सर्वोत्तम अभ्यासों को साझा करने में सक्षम बनाया।अरिहंत इंटरनेशनल स्कूल की निदेशक-प्रधानाचार्य दविंदर के. साहनी ने इस तरह की पहल के महत्व पर प्रकाश डाला।
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उन्होंने कहा, “यह कार्यक्रम शिक्षकों के लिए अपनी शिक्षण पद्धतियों को बेहतर बनाने का एक शानदार अवसर है। कहानी सुनाना सीखने के अनुभव को बदल सकता है, जिससे यह छात्रों के लिए अधिक प्रभावशाली और आनंददायक बन सकता है।” इस कार्यक्रम को उपस्थित लोगों से सकारात्मक प्रतिक्रिया मिली, जिन्होंने नए कौशल सीखने और विभिन्न क्षेत्रों के साथियों के साथ नेटवर्क बनाने के अवसर की सराहना की।
हरियाणा के एक भाग लेने वाले स्कूल के एक शिक्षक ने कहा, “आज हमने जो कहानी सुनाने की तकनीक सीखीं, वे निश्चित रूप से हमारे पाठों को अधिक आकर्षक और संवादात्मक बनाने में मदद करेंगी।” सीबीएसई भविष्य में ऐसे और कार्यक्रम आयोजित करने की योजना बना रहा है, जिसमें भारत भर के स्कूलों में शिक्षण और सीखने की गुणवत्ता में निरंतर सुधार करने के लिए आधुनिक शिक्षा के विभिन्न पहलुओं पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा।