नाहन, 27 दिसंबर : शहर के ऐतिहासिक मैदान के आसपास जब निजी होटल या फिर हिंदू आश्रम में कार्यक्रम होता है, तो पार्किंग के लिए मुफ्त का जुगाड़ ढूंढने की कोशिश की जाती है। कई मर्तबा चौगान मैदान के एक हिस्से को पार्किंग में भी तब्दील करने की खबरें आती रही हैं। इस बार गुरुद्वारे के समीप स्थित प्राथमिक पाठशाला के मैदान को ही पार्किंग में तब्दील कर दिया गया। इस मैदान में पहले से ही भवन सामग्री पड़ी हुई है।
सवाल उठता है कि जब चंद मीटर की दूरी पर नगर परिषद की पार्किंग उपलब्ध है, तो मुफ्त का जुगाड़ क्यों ढूंढा जाता है। इन वाहनों को पार्क करने के लिए नगर परिषद द्वारा ठेकेदारों को दी गई पार्किंग का इस्तेमाल भी किया जा सकता है। इससे नगर परिषद की आमदनी भी होगी।
दरअसल शहर में मुफ्त की पार्किंग का जुगाड़ हर कोई ढूंढने की कोशिश करता है। नगर परिषद ने सड़कों के किनारे लगभग 500 वाहनों के लिए पेड पार्किंग का ऐलान किया था। लेकिन सख्ती ना होने की वजह से अब भी सड़कों के किनारे मुफ्त में ही वाहनों को पार्क कर दिया जाता है। कई मर्तबा तो वाहनों को लंबे अरसे तक हटाया तक नहीं जाता।
बार-बार यही सवाल उठाया जाता है, कि शहर में पार्किंग नहीं है, मगर प्रश्न यह भी है कि जब नगर परिषद द्वारा दिल्ली गेट के आसपास 3 पार्किंग उपलब्ध करवाई गई है तो इसमें वाहन धारको द्वारा अपने वाहनों को क्यों पार्क नहीं किया जाता।
रविवार की छुट्टी की वजह से शिक्षा विभाग के अधिकारियों का पक्ष हासिल नहीं हो पाया। अलबत्ता यह सवाल जरूर जस का तस है कि आखिर वह कौन रसूखदार है, जिन्होंने रविवार की छुट्टी का फायदा उठाकर स्कूल के मैदान को ही निशुल्क पार्किंग में तब्दील करवा लिया।