शिमला 25 दिसंबर : 29 जनवरी को देश की राजधानी में भाजपा के सदस्यता हासिल करने वाली अंतरराष्ट्रीय बैडमिंटन खिलाड़ी (International Badminton Player) साइना नेहवाल को धर्मशाला में 52 कनाल जमीन दी गई है। तर्क दिया गया है कि इस जमीन पर अंतरराष्ट्रीय बैडमिंटन अकादमी खोली जाएगी।
सरकार के इस निर्णय (Decision) के बाद अहम सवाल यह उठा है कि क्या अगर महाबली द ग्रेट खली (The Great Khali) भी भाजपा (BJP) के सदस्यता (Membership) ले लेते तो उसी सूरत में उन्हें सरकार रेसलिंग अकादमी (Wrestling Academy) खोलने के लिए भूमि (Land) उपलब्ध करवा देती। यह सवाल इस कारण भी लाजमी हो चुका है क्योंकि धूमल सरकार के वक्त में खली ने प्रदेश की धरती पर अंतरराष्ट्रीय स्तर की रेसलिंग अकादमी (International Wrestling Academy) खोलने का प्रस्ताव रखा था। इसके बाद हलचल भी हुई। पांवटा साहिब में एक भूखंड दिखाया भी गया, लेकिन जानबूझकर एक ऐसी जमीन को दिखा दिया गया जिसका कोई रास्ता नहीं था। लिहाजा खली ने इस पर कोई सहमति नहीं दी थी।
इसके बाद करीब 2 साल पहले भी सिरमौर प्रशासन (Sirmour Administration) के स्तर पर खली की बातचीत हुई, लेकिन यह बात भी कोई सिरे नहीं चढ़ी। इस समय खाली पंजाब के जालंधर में कॉन्टिनेंटल रेसलिंग एंटरटेनमेंट अकादमी को चला रहे हैं। शुरुआती चरण में खली इस अकादमी को अपने ही पैतृक प्रदेश में खोलना चाहते थे। खली का तर्क यह भी रहा है कि रेसलिंग के जरिए जहां युवाओं का ध्यान नशे जैसी कुरीतियों से हटेगा। वही इसमें अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कैरियर बनाने के भी कई अवसर उपलब्ध होंगे।
बता दें कि खली की जालंधर अकादमी से कई रेसलर ने यूएसए में डब्ल्यूडब्ल्यूई में भी प्रवेश किया है। कुल मिलाकर सवाल इस बात पर भी उठता है कि अपने ही प्रदेश के ऐसे शख्सियतों को सरकार क्यों अनदेखा करती है, जिनकी बदौलत पूरे प्रदेश को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर एक पहचान बनाने में सफलता मिली है।
चंद महीने पहले साइना नेहवाल अपने पति के साथ शिमला आई थी, इस दौरान अकादमी खोलने की इच्छा जताई थी। प्रश्न इस बात पर भी उठ रहा है कि अंतरराष्ट्रीय बैडमिंटन खिलाड़ी को जमीन उपलब्ध करवाने में इतनी तेजी क्यों दिखाई गई। आरोप यह भी लग रहा है कि हैदराबाद की रहने वाली साइना को एक महीने के भीतर जमीन का आबंटन राजनीति से प्रेरित हो सकता है।
अहम बात यह है कि धर्मशाला इस समय पर्यटन व बौद्ध धर्म के अनुयायियों के दृष्टिगत अंतर्राष्ट्रीय मानचित्र पर है। इसके अलावा इंटरनेशनल क्रिकेट स्टेडियम (International Cricket Stadium Dharmshala) भी अपनी एक अलग पहचान बना चुका है। लिहाजा साइना नेहवाल के दी गई जमीन की कीमत करोड़ों में ही हो सकती है। आशंका जाहिर की जा रही है कि केंद्र के इशारे पर साइना नेहवाल को ज़मीन देने की औपचारिकता (Formality) को आनन फानन में पूरा किया गया।