कुल्लू (एमबीएम न्यूज़) : पर्यावरण व समाज सेवा के क्षेत्र में अंतराष्ट्रीय स्तर पर सराहनीय कार्य करने वाले प्रसिद्ध राष्ट्रीय पर्यावरणविद किशन लाल को अब उत्तर प्रदेश पत्रकार परिषद ने भी अवार्ड के लिए चयनित किया है। यह अवार्ड 25 दिसंबर को निर्मल काशी विश्वनाथ नगर कॉलोनी लठियां चितईपुर बाईपास रोड़ वाराणसी में एक विशाल सम्मेलन में किशन लाल को मिलेगा। इस अवार्ड के लिए किशन लाल का चयन होने पर यहां के पर्यावरणविदों में खुशी का माहौल है।
किशन लाल इस सम्मेलन में हिमाचल प्रदेश का प्रतिनिधित्व करेंगे। अंतर्रारष्ट्रीय ग्रीन मैन के अवार्ड मिलने के बाद अब किशन लाल का नाम भी ग्रीन मैन पड़ गया है। पर्यावरण के क्षेत्र में कई नए काम करने वाले किशन लाल ने चिपको आंदोलन की तर्ज पर पेड़ों को बचाने के लिए पेड़ों में राखी बांध कर भाई बनाने की जो परंपरा शुरू की थी उससे किशन लाल पूरे विश्व में प्रसिद्ध हुए। किशन लाल ने पर्यावरण के क्षेत्र में न सिर्फ कुल्लू मनाली में काम किया है बल्कि वर्तमान में वे एशिया के सबसे उंचे दर्रों लेह-लद्दाख, सिंधू नदी, खड़दूंगला दर्राे पर भी पहुंच गए हैं और वहां पर पर्यावरण को बचाने की अलख जगा रहे हैं।
खड़दूंगला दर्रा जिसकी उंचाई 18830 फुट है और यह दर्रा एशिया का सबसे उंचा दर्रा माना जाता है और यहां पर विश्व की सबसे उंचा सड़क मार्ग है पर किशन ठाकुर गत दो वर्षों से पर्यावरण को बचाने का कार्य कर रहे हैं। इसके अलावा जसकर, श्रीनगर सहित पूरे भारतवर्ष में किशन ठाकुर पर्यावरण को बचाने के लिए आगे आए हैं। गौर रहे कि किशन लाल को सबसे पहले 1987 में राष्ट्रपति के हाथों से राष्ट्रीय अवार्ड मिला है। इसके बाद भूटान में पर्यावरण के क्षेत्र में ग्रीनमैन अवार्ड से सम्मानित हुए हैं।
वहीं, हिमाचल केसरी अवार्ड के अलावा नारायणदत्त शास्त्री पुरस्कार अवार्ड भी किशन को मिला है। नागा समृद्धि पुरस्कार के अलावा स्कॉटलैंड में नेकोटेक पुरस्कार से भी किशन लाल को सम्मानित किया गया है। किशन लाल को इसके अलावा लाईफ टाइम अचीवमैंट अवार्ड के अलावा दि रियल हीरो अवार्ड भी मिल चुका है। वहीं, दि ट्री ऑफ लाइफ, लला मेमे फाउंडेशन अवार्ड के अलावा किशन को कई अन्य दर्जनों अवार्ड मिल चुके हैं।