नाहन: पच्छाद उप चुनाव में बीजेपी के टिकट को लेकर खासी राजनीति चल रही है। अब अगर मीडिया रिपोर्टस की मानें तो प्रदेश भाजपा ने टिकट के लिए बलदेव कश्यप, रीना कश्यप व आशीष सिक्टा के पैनल को केंद्रीय संसदीय बोर्ड को भेजा है। शुरू से ही जिला परिषद सदस्या दयाल प्यारी टिकट की दावेदारी में चल रही थी। अब अगर प्रदेश से दयाल प्यारी को टिकट के पैनल में शामिल नहीं किया गया है तो निश्चित तौर पर राज्य विपणन बोर्ड के अध्यक्ष बलदेव भंडारी व सांसद सुरेश कश्यप के बीच चल रही टशन को ही वजह माना जा सकता है।
हालांकि इस बार गिरिपार से टिकट की मांग भी जोर-शोर से उठने का दवाब भी भाजपा पर है, लेकिन दयाल प्यारी को भी दौड़ में शामिल माना जाता रहा। उल्लेखनीय है कि सीएम के सराहां प्रवास के दौरान का एक वीडियो चंद महीने पहले वायरल हो गया था। इसमें भंडारी द्वारा दयाल प्यारी को धक्का देकर मंच पर पीछे धकेला गया था। मामले ने जबरदस्त तरीके से तूल पकड़ा था। यहां तक की भंडारी के खिलाफ एससी व एसटी एक्ट के तहत भी मामला दर्ज किया गया था।
अहम बात यह है कि इस बार हलके में जातीय समीकरणों के अलावा क्षेत्रीय राजनीति भी हावी हो रही है। चुनाव में अपने रिश्तेदार के लिए टिकट की पैरवी करने से सांसद सुरेश कश्यप को खासी फजीहत का सामना भी करना पड़ा है। अटकलों के मुताबिक पार्टी आलाकमान ने यह साफ कर दिया है कि किसी भी सांसद के रिश्तेदार को टिकट नहीं मिलेगा।
कुल मिलाकर नामांकन दाखिल करने की प्रक्रिया तीसरे दिन में प्रवेश कर चुकी है, लेकिन भाजपा टिकट को लेकर फैसला नहीं ले पाई है। चर्चा यह है कि भाजपा के ही नेता नहीं चाहते थे कि किसी भी कीमत पर दयाल प्यारी को टिकट मिले। जहां तक जनाधार का सवाल है तो दयाल प्यारी के सराहां क्षेत्र की पंचायतों में रसूख को हलके तरीके से नहीं लिया जा सकता।