शैलेंद्र कालरा /शिमला
अगर हिमाचली मतदाता 19 मई को मतदान करेगा तो देवभूमि देश में एक इतिहास रच सकती है। बशर्ते पूरे हिमाचल की मतदान प्रतिशतता 80-90 फ़ीसदी का आंकड़ा छू ले। मतदान प्रतिशतता में देवभूमि अगर देश में सबसे आगे रहती है, तो लाजमी तौर पर हर एक हिमाचली खुद को गौरवान्वित महसूस करेगा। हालांकि स्वीप कार्यक्रम के तहत चुनाव आयोग मतदान प्रतिशतता को बढ़ाने के लिए हर संभव कोशिश कर रहा है,लेकिन हरेक हिमाचली की व्यक्तिगत जिम्मेदारी भी बनती है।
सोचिए, अगर प्रदेश मतदान प्रतिशतता में देश का सिरमौर बन गया, तो हर एक हिमाचली के लिए किस कद्र गौरव के पल होंगे। इस मुहिम में न केवल आपको मतदान करना होगा, बल्कि ऐसे लोगों को भी मतदान के लिए प्रेरित करना होगा, जो अमूमन मतदान से टल जाते हैं। प्रदेश के कई हिस्सों से मतदान के बहिष्कार की भी चेतावनी आ रही है। लेकिन मतदान के बहिष्कार की चेतावनी देने वाले यह भूल रहे हैं कि एक नोटा का बटन भी दबाया जा सकता है। इससे उनका विरोध ऑन रिकॉर्ड आएगा। नोटा का बटन दबाकर अपनी नाराजगी जाहिर की जा सकती है।
प्रदेश के तमाम जिलों के उपायुक्त अपने-अपने स्तर पर वोट प्रतिशतता को बढ़ाने के लिए सृजनात्मक उपाय करने की कोशिश में लगे हुए हैं। इन उपायों का हिस्सा बनकर आप लोकतंत्र के महाकुंभ में अपनी आहूति डाल सकते हैं। कुल मिलाकर शपथ लेने का वक्त आ गया है कि हम 19 मई को ना केवल खुद मत का इस्तेमाल करेंगे, बल्कि अन्य मतदाताओं को भी इसके लिए प्रेरित करेंगे। ताकि पूरे देश को यह बताया जा सके कि हिमाचली सबसे आगे रहना बखूबी जानते हैं।
लोकसभा चुनाव के प्रथम चरण में 91 सीटों पर मतदान हुआ। इसमें सबसे अधिक त्रिपुरा में 81.8 प्रतिशत मतदान रिकॉर्ड हुआ, जबकि पश्चिम बंगाल में 81 प्रतिशत मतदान हुआ। दूसरे चरण में 11 राज्यों के 95 निर्वाचन क्षेत्रों में मतदान हुआ। इसमें सबसे भी सबसे अधिक मतदान पश्चिम बंगाल में 76.42 प्रतिशत दर्ज हुआ है। पांडिचेरी में 76.19 प्रतिशत दर्ज हुआ। इन संकेतों के मुताबिक प्रदेश के मतदाताओं को देश में सर्वश्रेष्ठ बनने के लिए 85 फीसदी का आंकड़ा पार करना होगा।
2014 के लोकसभा चुनाव में प्रदेश में करीब 64 प्रतिशत मतदान हुआ था। प्रदेश में 7723 पोलिंग बूथ हैं। 2017 के विधानसभा चुनाव में 75.61 प्रतिशत मतदान हुआ था, जो पिछले चार दशकों का सर्वाधिक आंका गया। बहरहाल अगर प्रदेश विधानसभा चुनाव की प्रतिशतता की पुनरावृति लोकसभा चुनाव में भी कर दे तो भी सराहनीय रहेगा।