जीता सिंह नेगी / रिकांगपिओ
क्षेत्र में महिला उत्पीड़न का एक बड़ा मामला सामने आया है। पुलिस प्रशासन से सहयोग न मिलने को लेकर क्षेत्र की एक अभागी महिला ने प्रदेश उच्च न्यायालय को पत्र लिखकर न्याय की गुहार लगाई है। कामरु पंचायत से संबंध रखने वाली एक अभागी महिला हीरा भगती ने प्रेस वार्ता कर अपनी आप बीती सुनाते हुए एक हलफनामे में कहा कि 2011 में उसकी शादी हरीश कुमार पुत्र स्व. मोहर सिंह गाँव धाराखड़ी डाकघर कोटला जिला कुल्लू से शादी हुई थी। जिसके बाद दो बेटियां भी हुई।
महिला ने बताया कि बार-बार कहने के बाद भी पति द्वारा बच्चो का नाम अपने पंचायत में पंजीकरण न करने तथा ससुराल न ले जाने को लेकर विवाद होता रहा। इस दौरान पति हरीश कुमार मेरे साथ शारीरिक, मानसिक व आर्थिक शोषण करता रहा। महिला ने यह भी बताया कि पति द्वारा किसी तरह का सहयोग न मिलने पर जब वह स्वयं कुल्लू स्थित अपने ससुराल गई तो वहां पर स्वयं पति, जेठ सहित सास द्वारा मुझे जाति सूचक शब्दो का हवाला देने के साथ-साथ पति द्वारा मारपीट कर मुझे अपमानित किया गया।
महिला ने बताया कि पति, जेठ सहित सास द्वारा घरेलू हिंसा के साथ-साथ शारीरिक, मानसिक व जाति सूचक शब्दो के प्रयोग को लेकर एसपी सहित महिला पुलिस थाना कुल्लू में 6-12-2017 को शिकायत दर्ज करवाई गई। इस दौरान आरोपियों के विरुद्ध कार्रवाई होने के बजाय मुझे अज्ञात फोन कॉल से केस को वापिस लेने का दबाव बनाया जा रहा है। यहां तक कि अपनी ऊंची राजनीतिक पहुँच का हवाला देकर डराया धमकाया जा रहा है। पीड़िता ने उच्च न्यायालय को पत्र लिखने के साथ-साथ पुलिस अधीक्षक से मांग की है कि इस मामले की जांच कर न्याय दिलाया जाए।
डीएसपी मनोज कुमार का कहना है कि हीरा भगती के विरुद्ध जातिसूचक शब्द कहे जाने के आरोप व गवाह न पाए जाने पर प्रारम्भिक जांच में केस खारिज कर दिया गया है। जाँच में यह भी सामने आया है कि शादी के बाद हीरा भगती अपने पति के साथ ससुराल में नही रही। ऐसे में घरेलू हिंसा का मामला नही बनता है। पति पर (498 A) घरेलू उत्पीड़न की जाँच चल रही है।