कुल्लू (एमबीएम न्यूज): जिला लाहौल-स्पीति किके्रट संगठन-1860 एक्ट के तहत 2005 में केलांग में गठन किया गया। इस संगठन को बनाने में प्रधान नोरबू, महासचिव किरण राणा और वित्त सचिव सुरेन्द्र का महत्वपूर्ण योगदान रहा। लेकिन किन्ही कारणों से इस संगठन को आगे ले जाने में सुरेन्द्र ठाकुर को प्रधान व रणजी खिलाड़ी रहे किशन राणा को महासचिव की बागडोर संभाली गई। दो-तीन साल तक इस संगठन ने अच्छे से कार्य किया। इस संगठन ने दुनिया के सबसे ऊंचे क्रिकेट ग्राऊंड सीसू को बनाने की कवायद तेज की, लेकिन जल्द ही संघ के पदाधिकारी राजनीति के शिकार बन गए, जिसके कारण क्रिकेट के क्षेत्र में लाहौल-स्पीति के बच्चों का भविष्य खत्म हो गया। इस राजनीति के चलते किशन राणा ने संघ से नाता तोडऩे का फैसला ले लिया ओर अपना त्यागपत्र दे दिया।
किशन राणा ने कहा कि राजनीति होने के कारण हिमाचल प्रदेश क्रिकेट संघ ने इस संगठन को मान्यता देने से साफ इंकार कर दिया। इस बारे किशन राणा का कहना है कि हमारा लक्ष्य संगठन को मान्यता दिलाना व सीसू को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर क्रिकेट स्टेडियम उपलब्ध करवाना है, ताकि क्षेत्र के प्रतिभाशाली बच्चे अपने टैलेंट को उभार सकें। किशन ने कहा कि मेरे सिवाय रणजी प्लेयर बनने में लाहौल स्पीति क्रिकेट संघ नाकाम रहा है, जिसका श्रेय संगठन की घटिया राजनीति को जाता है।