शिमला, 23 जून : हिमाचल प्रदेश यूनिवर्सिटी (HPU) के हर विभाग में अब सिंगल गर्ल चाइल्ड (Single Girl Child) के लिए दो सीटें रखी जाएगी। इससे पहले एक ही सीट आरक्षित (Reserved) होती थी। हालांकि, कुछ विभागों ने तो दो सीटें आरक्षित करना शुरू कर दिया है। लेकिन कुछ विभाग ऐसे हैं, जो सिर्फ एक ही सीट सिंगल गर्ल चाइल्ड के लिए आरक्षित कर रहे हैं। ऐसे में अब उन्हें दो सीटें रिजर्व करनी ही होगी।
वर्ष 2009 में तत्कालीन वीसी प्रो. सुनील कुमार गुप्ता ने सिंगल गर्ल चाइल्ड के लिए भी एक सीट रिजर्व की थी। पहले पीजी में यह सीट रिजर्व की गई थी। इसके बाद एमफिल (M.Phill), पीएचडी (Ph.D.) के अलावा कॉलेजों में भी ये सीट रिजर्व करने का निर्णय लिया गया था। अब एक नहीं दो सीटें आरक्षित होंगी। फिलहाल पोस्ट ग्रेजुएट कोर्सिस में रिजर्व रहेगी।
एचपीयू की ओर से अपनी स्वर्ण जयंती समारोह के उपलब्धि पत्र में इसे सबसे बड़ी उपलब्धि के रुप में प्रकाशित किया गया है। एचपीयू में 33 विभाग हैं, जिनमें प्रवेश के लिए हर साल एंट्रेंस टेस्ट होते हैं।
एचपीयू ने छात्रों, शिक्षक एवं कर्मचारियों के अधिकारों और हितों को ध्यान में रखते हुए हर वर्ग के लिए एक अधिकार पत्र तैयार किया है। जिसके तहत अलग-अलग वर्गों की जिम्मेदारियां, समस्याओं और अधिकारों के समाधान को तुरंत किया जाएगा। इसके तहत हर वर्ग को अपने कार्यक्षेत्र में काम करने वालों को एचपीयू के विकास के लिए काम करना होगा।
सीट आरक्षित होने से ये फायदा…
– एचपीयू में एमटीए, एमबीए, एमसीए और लॉ जैसे बड़े विभाग हैं। यहां पर एडमिशन मिलना मुश्किल होता है।
– प्रशासन की ओर से सीटों के आवंटन के लिए रोस्टर बनाए जाते हैं।
– इन रोस्टरों के तहत एससी, एसटी, दिव्यांग श्रेणी, जम्मू कश्मीर के छात्रों का कोटा और अन्य कोटे रखे जाते हैं।
– इसमें सिंगल गर्ल चाइल्ड के लिए भी एक सीट थी, अब इसे दो कर दिया गया है।
– इकलौती छात्रा को एडमिशन लेने में अब आसानी होगी।