मंडी (एमबीएम न्यूज़) : जिला के नेरचौक में बने ईएसआईसी के मेडिकल कालेज का मुद्दा दिनों दिन तुल पकड़ता जा रहा है। केंद्र और राज्य सरकारों के बीच उलझ कर रहे गये मेडिकल कालेज नेरचौक को लेकर अब एक नयी मांग उठने लगी है और यह मांग है इस कालेज को नीजि हाथों में सौंपने की। हिमाचल प्रदेश के ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज मंत्री अनिल शर्मा के बड़े सुपुत्र एवं मंडी जिला कांग्रेस कमेटी के महासचिव आश्रय शर्मा ने यह मांग उठाई है ।
मंडी में आयोजित पत्रकार वार्ता के दौरान आश्रय शर्मा ने कहा कि राज्य और केंद्र सरकार के बीच 60:40 के अनुपात में मेडिकल कालेज चलाने की बात चल रही थी लेकिन राज्य सरकार धन की कमी के कारण मेडिकल कालेज का संचालन नहीं कर पा रही है। उन्होंने कहा कि अगर सरकार के पास धन की कमी है तो ऐसे में इस कालेज को निजी हाथों में सौंप दिया जाना चाहिये। आश्रय शर्मा ने बताया कि मेडिकल कालेज को निजी हाथों में देने के साथ ही सरकार को इस पर अपनी निगरानी रखनी होगी और लोगों की सुविधा के लिए सभी दरें निर्धारित करनी होगी।
उन्होंने बताया कि देश में बहुत से ऐसी संस्थाएं हैं जो मेडिकल कालेज को चलाने के लिए आगे आ सकती हैं और इससे लोगों को लाभ मिल सकता है। उन्होंने कहा कि सरकार को इस दिशा में जल्द से जल्द कोई निर्णय लेना चाहिये ताकि करोड़ों की लागत से बनकर तैयार हुए भवन का इस्तेमाल किया जा सके और इस मेडिकल कालेज को किसी न किसी तरह से चलाया जा सके। बता दें कि नेरचौक का ईएसआईसी का मेडिकल कालेज बनकर तैयार हो चुका है लेकिन इसे अभी तक शुरू नहीं किया जा सका है जिस कारण लोगों को इसका कोई लाभ नहीं मिल रहा है।