नौहराधार, 26 मई : विगत दिनों बडू साहिब के 18 छात्रों का लापता होना प्रशासन के लिए भी सबक बन गया है। चुड़धार यात्रा के दौरान रास्ता भटकने की घटनाओं में तेजी से वृद्धि को देखते हुए प्रशासन सतर्क हो गया है।
इसी कड़ी में बुधवार को नौहराधार में एसडीएम संगड़ाह डॉक्टर विक्रम नेगी की अध्यक्षता में एक अहम बैठक आयोजित की गई। जिसमें पंचायत प्रतिनिधि के अलावा पुलिस, वन विभाग, लोक निर्माण, जल शक्ति, स्वास्थ्य विभाग के अलावा चूड़ेश्वर समिति के पदाधिकारियों ने मुख्यता भाग लिया।
बैठक में निर्णय लिया गया कि नौहराधार से कोई भी पर्यटक व श्रद्धालु 3 बजे के बाद चूड़धार की यात्रा पर नहीं जाएंगे। तीन बजे के बाद पूर्णतयः प्रतिबंध लगाया गया है। बाजार से लेकर चूड़धार तक साइन बोर्ड लगाए जाएंगे। जिसे चूड़ेश्वर सेवा समिति द्वारा लगाया जाएगा। इसके अलावा अक्सर पर्यटक रात को चूड़धार का सफर करते देखे गए हैं। इसके लिए प्रसाशन ने एडवाइजरी जारी कर दी है। साथ में मुख्य गेट नौहराधार में एडवाइजरी भी लगा दी जाएगी।
यात्रियों से पूछताछ की जाएगी तथा साथ में एडवाइज भी किया जाएगा। एसडीएम ने सभी लोगों से अपील की है कि सभी सहयोग करें। श्रद्धालुओं को समझाए कि शाम के समय सफर न करें। इसके अलावा एक रेस्क्यू टीम भी गठित की गई। जिसमें लापता लोगों की मदद को रेस्क्यू टीम जाएगी। रेस्क्यू टीम को पूरा साजो सामान भी प्रशासन मुहैया करवाएगा।
बैठक में सुझाव दिए गए है कि बीच- बीच में सोलर लाइट की व्यवस्था की जाए, जिसे चूड़ेश्वर समिति के पदाधिकारीयों ने जल्द लगाने की हामी भरी। चूड़ेश्वर समिति द्वारा साइन बोर्ड लगाने की तैयारी कर दी गई है। हालांकि कई स्थानों पर पहले ही पुलिस प्रशासन, व्यापार मंडल सदस्य चूड़ेश्वर सेवा समिति व वन विभाग के सहयोग से किलोमीटर व सूचना पट्टिका लगी है। उन साइन बोर्ड को देखकर ही सफर करें।
उन्होंने कहा कि चूड़ेश्वर सेवा समिति फिर से चुनिंदा स्थानों पर साइन बोर्ड लगाएगी। बाकायदा सूचना पट्टिका में मोबाइल के नेटवर्क के बारे में भी बताया गया है कि यहां पर नेटवर्किंग की समस्या है। बैटरी बचा के रखें, यह रास्ता नही, इधर न जाएं आदि। फिर भी कई श्रद्धालु सेल्फी व फोटो के चक्कर में रास्ते से बाहर चले जाते हैं।
बता दें कि हर वर्ष हिमाचल के अलावा बाहरी राज्यों के श्रद्धालुओं का भोले के दर्शन के लिए तांता लगा रहता है। गौरतलब है कि चूड़धार के जंगलों में कई लोग रास्ता भटक चुके है यहां तक कि कई लोग जान भी गवां चुके हैं।