नाहन, 23 जनवरी : अंडर-19 वर्ल्ड कप में धमाकेदार बल्लेबाजी (batting) की बदौलत ‘राज बावा’ राष्ट्रीय स्तर पर खासी चर्चा में हैं। वेस्टइंडीज (West Indies) में अंडर-19 विश्व कप के ग्रुप बी के अंतिम मुकाबले में राज बावा ने युगांडा (Uganda) के खिलाफ 162 रनों की धमाकेदार पारी खेली। इससे बावा ने शिखर धवन का 18 साल पुराना रिकाॅर्ड भी तोड़ा है। इसके साथ ही वो टूर्नामेंट के इतिहास में भारत के सर्वश्रेष्ठ व्यक्तिगत स्कोर रन (best individual score runs) बनाने वाले बल्लेबाज भी बन गए हैं। धवन ने 2004 के अंडर-19 ढाका विश्व कप में 155 रन बनाए थे।
गौरतलब है राज ने 108 गेंदों का सामना करते हुए 14 चौकों व 8 छक्कों की मदद से 162 रन बनाए। चूंकि, यंग क्रिकेटर (Young Cricketer) का जन्म हिमाचल प्रदेश के नाहन में 12 नवंबर 2002 में हुआ था, लिहाजा क्रिकेटर की सफलता में हिमाचल का नाम भी जुड़ रहा है। बता दें कि राज के पिता सुखविंद्र सिंह क्रिकेट के वरिष्ठ कोच (senior coach) हैं। क्रिकेट खिलाड़ी युवराज के बचपन के कोच भी रह चुके हैं। वहीं, अब राज क्रिकेटर युवराज सिंह को अपना आदर्श मानता है। जन्म के कुछ समय बाद ‘राज’ चंडीगढ़ चला गया था। पिता का जुड़ाव हिमाचल से तब से रहा है, जब देश के मौजूदा खेल व सूचना प्रसारण मंत्री (Minister of Sports and Information Broadcasting) अनुराग ठाकुर ने हिमाचल क्रिकेट एसोसिएशन (Himachal Cricket Association) में दस्तक दी थी।
सबसे अहम बात ये है कि हिमाचल प्रदेश के क्रिकेट में सिरमौर ने करीब 9-10 साल पहले अब तक मात्र एक बार अंतर जिला क्रिकेट प्रतियोगिता को जीता है। उस समय राज के पिता सुखविंद्र सिंह ही सिरमौर टीम के क्रिकेट कोच थे। सिरमौर क्रिकेट एसोसिएशन के तत्कालीन अध्यक्ष धीरेन मोहिल के आग्रह पर ही वो सिरमौर टीम को प्रशिक्षित करने के लिए आए थे।
एमबीएम न्यूज नेटवर्क से बातचीत के दौरान क्रिकेट कोच सुखविंद्र सिंह ने कहा कि हिमाचल से गहरा लगाव है। उन्होंने बताया कि बेटे ने बचपन से ही घर में क्रिकेट का माहौल देखा, लिहाजा इसके प्रति रूचि पैदा हो गई थी। बेटे की सफलता पर वो बेहद ही गौरवान्वित (Proud) महसूस कर रहे हैं। कैरियर के दौरान कई क्रिकेट खिलाड़ियों को प्रशिक्षित (Trained) किया। आज उनका अपना बेटा भी अपनी प्रतिभा (Talent) की बदौलत कुछ करने की राह पर अग्रसर है। उनका कहना था कि पुश्तैनी घर पंजाब में है, लेकिन दशकों से वो चंडीगढ़ में सैटल हैं।
उल्लेखनीय है कि राज बावा ऑल राउंडर (All Rounder) क्रिकेटर हैं। पिता व कोच सुखविंद्र सिंह ने बताया कि राज के दादा त्रलोचन बावा 1948 के ओलंपिक में भारतीय हॉकी टीम (Indian hockey team) का हिस्सा रहे थे, जिस टीम ने गोल्ड मैडल (Gold Medal) हासिल किया था। उन्होंने ये भी बताया कि राज के तमाम प्रमाणपत्रों (certificates) पर नाहन ही बर्थ प्लेस है।