ऊना, 23 मार्च : हिमाचल के ऊना जनपद में स्टेट विजिलेंस व एंटी क्रप्शन ब्यूरो ने भ्रष्टाचार के खिलाफ 8 दिन के भीतर दूसरी बड़ी कार्रवाई की है। विजिलेंस की टीम ने स्टेट बैंक ऑफ़ इंडिया की गगरेट शाखा के प्रबंधक व एजेंट को 20 हजार की रिश्वत लेने के आरोप में रंगे हाथों काबू किया है।
शिकायतकर्ता राकेश कुमार ने विजिलेंस को शिकायत की थी कि उसने लकड़ी के एक छोटे उद्योग के लिए लोन लिया था। इसकी किश्ते न दे पाने के कारण खाते को 2019 में एनपीए घोषित कर दिया गया। साथ ही 2019 में फैक्टरी को सील कर दिया गया था। 26 फरवरी 2021 को इसने बैंक का ऋण चुकता कर दिया। बावजूद इसके बैंक द्वारा उसकी फैक्टरी के ताले नहीं खोले जा रहे थे। इसके लिए टालमटोल की जाती रही।
बैंक प्रबंधक आशीष कुमार द्वारा ताले खोलने को लेकर अलग-अलग बहाने बनाए जाते रहे। इसी दौरान प्रबंधक ने उसे 20 हजार रुपए की रिश्वत देने के लिए कहा। शिकायतकर्ता के मुताबिक मैनेजर आशीष कुमार ने खुद पैसे लेने से मना कर दिया। प्रबंधक ने 20 हजार रुपए की राशि अनिल कुमार को देने की बात कही। विजिलेंस ने अनिल कुमार को 20 हजार की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया।
विजिलेंस की कार्रवाई के दौरान प्रबंधक आशीष कुमार व एजेंट अनिल कुमार फैक्टरी के ताले खुलवा रहे थे। इसी दौरान दोनों को गिरफ्तार किया गया। विजिलेंस के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सागर चंद ने पुष्टि करते हुए कहा कि जांच जारी है। बता दें कि 15 मार्च को भी विजिलेंस की टीम ने ऊना मुख्यालय में तहसीलदार को 5 हजार की रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार किया था।
उधर, स्टेट विजिलेंस व एंटी क्रप्शन ब्यूरो के एडीजीपी अनुराग गर्ग ने पुष्टि करते हुए कहा कि भ्रष्टाचार के खिलाफ जीरो टाॅलरेंस के तहत अभियान जारी है।