वी कुमार/मंडी
सीएम के गृह जिला मंडी के प्रशासन ने बीपीएल में चार नई श्रेणियों को शामिल करने का निर्णय लिया है। मंडी पूरे प्रदेश में पहला ऐसा जिला बन गया है जिसने अपने स्तर पर चार नई श्रेणियों को बीपीएल के साथ जोड़ने का निर्णय लिया है। कौन सी हैं यह चार नई श्रेणियां और कैसे होगा इनका बीपीएल में चयन, जानिए हमारी इस रिपोर्ट में।
हिमाचल प्रदेश में बीपीएल श्रेणी में हर कोई शामिल होना चाहता है। खासतौर पर यह सुविधा उन रसूखदारों की जागीर बन बैठी है जो अपनी पहुंच के चलते गरीबों का हक डकारने में कोई कसर नहीं छोड़ते। हालांकि समय-समय पर राज्य सरकारों ने बीपीएल चयन को लेकर कई बदलाव भी किए और रसूखदारों को हटाने के काफी प्रयास भी हुए लेकिन फिर भी बहुत से रसूखदार अभी तक इस श्रेणी में रहकर गरीबों को मिलने वाली सुविधाओं को हड़प रहे हैं। ऐसे में अब मंडी जिला प्रशासन ने अपने स्तर पर एक नई शुरूआत की है।
इस नई शुरूआत के तहत प्रशासन ने चार नई श्रेणियों को बीपीएल में शामिल करने का निर्णय लिया है। डीसी मंडी ऋग्वेद ठाकुर ने देखा कि बहुत से ऐसे लोग रोजाना उनके पास फरियाद लेकर आ रहे हैं जो वास्तविकता में बीपीएल तो हैं लेकिन सरकारी तौर पर उन्हें इस सुविधा का लाभ नहीं मिल पा रहा। ऐसे में उन्होंने इसके प्रावधानों के बारे में जांच पड़ताल की। अपने स्तर पर चार श्रेणियों को इसमें शामिल करने का अधिकारिक आदेश जारी कर दिया।
चार नई श्रेणियों में जिन्हें शामिल किया गया उनमें विधवा, तलाकशुदा, परित्यक्त महिलाएं जो अलग परिवार के रूप में रह रही हों, उपचाराधीन कैंसर पीडि़त के परिवार, उपचाराधीन रीनल फ़ेल्युर, गुर्दे संबंधी मरीजों के परिवार और ऐसे परिवार जिनका कोई सदस्य 70 प्रतिशत से अधिक विकलांग हो। पंचायतों को ऐसे परिवारों को प्राथमिकता के आधार पर बीपीएल श्रेणी में शामिल करना होगा। लेकिन इन परिवारों को तभी शामिल किया जाएगा जब यह बीपीएल चयन के लिए सरकार द्वारा तय मापदंडों पर खरा उतरेंगे।
डीसी मंडी ऋग्वेद ठाकुर ने बताया कि इस बारे में सभी खंड विकास अधिकारियों के माध्यम से पंचायतों को आदेश कर दिए गए हैं। डीसी मंडी का मानना है कि ऐसे पात्र परिवार जब बीपीएल श्रेणी में शामिल होंगे तो इन परिवारों को उपचार सहित अन्य सरकारी सुविधाएं मिलेंगी जो परिवारों के लिए मददगार साबित होंगी।
ध्यान रहे कि यह सुविधा ऐसे परिवारों के लिए नहीं है जो इन चार श्रेणियों में तो आते हैं लेकिन पूरी तरह से सुविधा संपन्न हैं। जिनके पास अच्छा घर, सरकारी नौकरी, गाड़ी सहित अन्य सुविधाएं मौजूद होंगी उन्हें बीपीएल में शामिल नहीं किया जाएगा। लेकिन पात्र परिवारों को पंचायतों को हर हाल में इस श्रेणी में शामिल करना होगा। यदि कोई पंचायत इन चार नई श्रेणियों के पात्र परिवारों को बीपीएल में नहीं जोड़ती तो फिर संबंधित एसडीएम इस बात की जांच करेंगे।
डीसी मंडी ऋग्वेद ठाकुर ने बताया कि यदि पात्र को नजरअंदाज करने का प्रयास किया गया तो फिर संबंधित पंचायतों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। बता दें कि अभी जिला प्रशासन ने अपने स्तर पर आदेश जारी किया है जबकि इसके परिणाम भविष्य में ही नजर आएंगे। उम्मीद यही की जा सकती है कि जिला प्रशासन द्वारा अपने स्तर पर शुरू की गई इस पहल से उन पात्र लोगों को उनका हक मिलेगा जिनका हक वास्तविकता में कोई और ही डकार रहा है।
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