एमबीएम न्यूज/शिमला
हिमाचल प्रदेश लोक सेवा आयोग द्वारा ड्रग इंस्पेक्टर के 6 पदों की नियुक्तियों की प्रक्रिया पर सवाल उठे हैं। हालांकि इस तरह के सवाल पहले भी उठते रहे हैं। कमाल इस बात पर है कि साक्षात्कार में टॉप करने वाले उम्मीदवार का लिखित परीक्षा में 16वां रैंक है। लिखित परीक्षा में 49.50 अंक मिलते हैं, लेकिन साक्षात्कार में 6 अंक मिलने से टॉप स्थान मिल जाता है।
एमबीएम न्यूज नेटवर्क को एक उम्मीदवार व पाठक द्वारा तुलनात्मक तरीके से आयोग के अधिकारिक नतीजे की प्रतिलिपियां भी भेजी हैं। साथ ही शंका जाहिर की हैं कि नतीजे को तैयार करने में भाई-भतीजावाद किया गया है। सीधे-सीधे आयोग से इस बात का जवाब मांगा जा रहा है कि छंटनी परीक्षा में बेहतरीन अंक लेने वालों को साक्षात्कार में क्यों कम अंक दिए गए। बताया गया कि छंटनी परीक्षा में दूसरा रैंक हासिल करने वाले अभ्यार्थी को साक्षात्कार में 100 में से 31 अंक दिए गए, जबकि तीसरा रैंक हासिल करने वाले को 28 अंक दिए गए।
दिलचस्प बात यह है कि चौथा रैंक हासिल करने वाले को 42 अंक मिले। सामान्य वर्ग की इस मैरिट सूची पर अंसतोष व्यक्त किया जा रहा है। छंटनी परीक्षा में सर्वोत्तम 64 अंक रहे। जबकि साक्षात्कार में सर्वोच्च स्कोर 66 अंक का रहा। सामान्य वर्ग में लिखित परीक्षा में प्रथम, छठा, 9वां, 15वां, 16वां व 20वां रैंक हासिल करने वालों का चयन हुआ है। लिखित परीक्षा में 49.50 अंक हासिल करने वाला उम्मीदवार साक्षात्कार के बाद टॉपर बन गया। लिखित परीक्षा में 20वां स्थान हासिल करने वाले उम्मीदवार को साक्षात्कार में 64 अंक दिए गए। लिखित परीक्षा के आधार पर 21 उम्मीदवारों को साक्षात्कार के लिए बुलाया गया था। उधर आयोग की कोई प्रतिक्रिया मिलने की स्थिति में उसे प्रमुखता से प्रकाशित किया जाएगा।