शिमला (एमबीएम न्यूज़): यूनिवर्सल टीकाकरण कार्यक्रम के तहत न्यूमोकोकल वैक्सीन संयुग्मी (पीसीवी) की शुरूआत को मंजूरी देते हुए स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री जेपी नड्डा ने कहा किए हिमाचल प्रदेश में पूर्ण टीकाकरण के विस्तार को बढाते हुए बाल मृत्यु दर को कम करने की दिशा में हमने एक नया मील का पत्थर हासिल किया है। हिमाचल प्रदेश भी चार अन्य राज्यों बिहार, उत्तर प्रदेश, राजस्थान और मध्य प्रदेश के साथ शामिल है, जहाँ 2017 से एक सुनियोजित तरीके से निमोनिया टीके को उपलब्ध कराया जाएगा।
नड्डा ने कहा कि यह राज्य को डायरिया वैक्सीन, (रोटावायरस) और निमोनिया वैक्सीन (PCV) के कुल मिलाकर बाल मृत्यु दर और राज्य में रुग्णता कमी हस्तक्षेप के संयुक्त प्रभाव को प्रदर्शित करने के लिए एक अनूठा अवसर प्रदान करेगा। मुझे यकीन है कि हिमाचल प्रदेश इस नए पीसीवी टीके से अत्यंत लाभान्वित होगा। हम चाहते हैं है कि हमारे बच्चे स्वस्थ हों और यह मध्यवर्तन उसको सुनिश्चित करने की दिशा में एक और कदम है।
उल्लेखनीय है कि स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय ने इस वर्ष कुछ समय पहले देश के चार राज्यों में डायरिया से निपटने के लिए रोटावायरस वैक्सीन का उपयोग किया था। उन चार राज्यों के नाम हैं। आंध्र प्रदेश, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश और ओडिशा।
इस अवसर पर नड्डा ने कहा हमारे प्रतिरक्षण कार्यक्रम में पीसीवी और रोटावायरस जैसे जीवन रक्षक टीके जोड़ने से न केवल हमारे बच्चों के स्वास्थ्य में सुधार होगा, बल्कि यह अस्पताल में भर्ती तथा डायरिया और निमोनिया से जुड़े अन्य लक्षणों जैसे कुपोषण एवं बच्चों के शारीरिक और मानसिक विकास में देरी जैसे मामलों में भी कमी आएगी। अस्पताल में भर्ती के मामले घट जाने से परिवार पर आर्थिक बोझ घट जाता है और इसके साथ ही देश पर भी स्वास्थ्य लागत का कम बोझ पड़ता है।
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