नाहन, 13 अगस्त: हिमाचल प्रदेश में जयराम सरकार मौजूदा कार्यकाल का अंतिम स्वतंत्रता दिवस समारोह (independence day celebration) मनाने जा रही है। सिरमौर के पच्छाद विधानसभा क्षेत्र के सराहां में राज्य स्तरीय समारोह के आयोजन के पीछे कुछ खास मायने हैं।
दरअसल, लंबे अरसे से समूचे प्रदेश में मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर (Chief Minister Jai Ram Thakur) व भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष व सांसद सुरेश कश्यप की जोड़ी साथ-साथ नजर आती रही है। गहरी दोस्ती है या फिर जुगलबंदी के भी कुछ खास कारण हैं, इसको लेकर हर कोई जवाब जानना चाहता है। प्रदेश के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने पार्टी प्रदेश अध्यक्ष सुरेश कश्यप के गृह निर्वाचन क्षेत्र को राज्य स्तरीय समारोह की सौगात तो दी है, अब नजरें इस बात पर भी हैं कि क्या शिलाई की तरह पच्छाद में भी 15 अगस्त को घोषणाओं का अंबार लगने वाला है।
जयराम ठाकुर व सुरेश कश्यप की जुगलबंदी के पीछे एक चर्चा ये भी है कि भाजपा द्वारा सोशल इंजीनियरिंग (Social Engineering) का फार्मूला निकाला गया है। जुगलबंदी में हिमाचल का प्रतिनिधित्व कर रहे जयराम ठाकुर का ताल्लुक सवर्ण समाज से है, जबकि भाजपा प्रदेश अध्यक्ष का संबंध अनुसूचित जाति से है। ये बात इस कारण भी प्रभावी लगती है, क्योंकि चंद महीने पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की धर्मशाला रैली में पीएम के दाएं और बाएं मुख्यमंत्री व पार्टी प्रदेश अध्यक्ष को ओपन जीप में स्थान दिया गया था।
सिरमौर में ट्रांसगिरी के मुद्दे को लेकर सवर्ण समाज व अनुसूचित जाति अलग-अलग दिशाओं में है। वैसे तो प्रदेश में अनुसूचित जाति के लिए 17 विधानसभा क्षेत्र आरक्षित हैं, लेकिन प्रभाव तीन दर्जन के करीब विधानसभा क्षेत्रों में रहता है। इन बिंदुओं से ये भी जाहिर होता है क़ि सराहां में राज्य स्तरीय कार्यक्रम आयोजित कर जयराम ठाकुर ने दोस्ती को भी निभाने का प्रयास किया है, साथ ही अनुसूचित जाति के वर्ग को भी रिझाने का प्रयास किया है। चूंकि ये जयराम सरकार के मौजूदा कार्यकाल का अंतिम स्वतंत्रता दिवस कार्यक्रम है, लिहाजा जन आकांक्षाएं भी परवान पर होंगी।
समूचे प्रदेश की नजरें सराहां पर टिकी होंगी। गौरतलब है कि बुधवार शाम को अचानक ही ये खबर आई थी कि राज्य स्तरीय स्वतंत्रता दिवस समारोह का आयोजन सराहां में किया जा रहा है, जबकि जिलेवार कार्यक्रमों में मंत्रियों की अध्यक्षता को लेकर सूचना वीरवार को जारी की गई है।
दिलचस्प बात ये भी है कि पच्छाद विधानसभा क्षेत्र दो हिस्सों में बंटा हुआ है। पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष सुरेश कश्यप का ताल्लुक गिरी आर क्षेत्र से है। सरकार भी समारोह का आयोजन गिरी आर में कर रही है। संतुलन के दृष्टिगत बात करें तो पच्छाद की विधायक गिरीपार से हैं।
बता दें कि मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर का 20 अगस्त को भी सिरमौर प्रवास है। पांवटा व नाहन में आजादी के अमृत महोत्सव को लेकर कार्यक्रम होने हैं। इसको लेकर ये भी संभावना जताई जा रही है कि पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा भी कार्यक्रम में शिरकत कर सकते हैं।
दीगर है कि हिमाचल की राजनीति में पच्छाद विधानसभा क्षेत्र विशेष स्थान रखता है। प्रदेश निर्माता डाॅ. वाईएस परमार का पैतृक स्थान इसी हलके में है। पहला चुनाव डाॅ. परमार ने पच्छाद से ही लड़ा था। इसके बाद कांग्रेस के दिग्गज नेता गंगूराम मुसाफिर भी हैवीवेट रहे। 2019 के उप चुनाव में ये हलका पूरे प्रदेश में इस कारण चर्चा में आ गया था कि भाजपा की तेजतर्रार नेत्री दयाल प्यारी ने पार्टी से बगावत कर दी थी। ये सीट सुरेश कश्यप के सांसद निर्वाचित होने के बाद रिक्त घोषित हुई थी।