ऊना, 4 मई : हिमाचल प्रदेश के ऊना जनपद के हरोली क्षेत्र के एक शख्स की पाकिस्तान (Pakistan) की जेल में मौत होने की खबर है। नंगल कलां का रहने वाला विपिन तकरीबन 10 साल पहले घर से लापता हो गया था। तकरीबन एक महीने पहले ही परिवार को विपिन के पाकिस्तान की जेल में होने की सूचना मिली थी। 2 मई को मौत होने की सूचना मिली थी।
परिजनों के मुताबिक पहले पहचान के लिए एक वीडियो (Video) आया था। इसमें पाक रेंजर्स को बताया गया था कि विपिन ही है। चंद रोज बाद सूचना दी गई कि विपिन की मौत हो गई है।
हरोली प्रशासन ने सीमा से शव को लाने के लिए नायब तहसीलदार (Naib Tehsildar) को जिम्मेदारी सौंपी थी। नायब तहसीलदार के साथ मृतक का भाई चिरंजी लाल व नगर पंचायत के चेयरमैन प्रकाश चंद भी इंडो-पाक बॉर्डर (Indo-Pak border) पर पहुंचे थे। बुधवार को पाक रेंजर्स ने जीरो लाइन पर शव बीएसएफ (BSF) के हवाले किया। औपचारिकताएं पूरी करने के बाद शव परिजनों को सौंप दिया गया।
तकरीबन 10 साल पहले विपिन अचानक गायब हो गया था। काफी तलाश के बावजूद कोई जानकारी नहीं मिली थी। पुलिस में भी गुमशुदगी का मामला दर्ज करवाया गया था। ऐसा बताया जा रहा है कि पाकिस्तान में दाखिल होने पर विपिन को घुसपेठिया मान कर पाक रेंजर्स ने पकड़ लिया था। इसके बाद उसे जेल में रखा गया था।

हालांकि स्पष्ट नहीं है, लेकिन बताया जा रहा है कि मानसिक संतुलन ठीक न होने की वजह से विपिन बॉर्डर पार कर पाकिस्तान में दाखिल हो गया था। हरोली के एसडीएम विशाल शर्मा ने बताया कि पाकिस्तान की तरफ से बताया गया था कि विपिन की तबीयत खराब होने के कारण मौत हुई है। उन्होंने बताया कि शव लाने के लिए प्रशासन ने परिजनों के साथ नायब तहसीलदार की भी ड्यूटी लगाई थी।
एसडीएम ने बताया कि परिवार ने बताया है कि विपिन की मानसिक हालत ठीक नहीं थी। अमृतसर में पल्लेदार का काम करता था। सीमा पार करने की वजह को लेकर स्थिति साफ नहीं है। एसडीएम ने बताया कि शव को पैतृक गांव में लाने के बाद बुधवार को ही अंतिम संस्कार कर दिया गया था।
विपिन पुत्र स्वर्गीय गुरदास राम (40 वर्ष) अपने पीछे तीन बहनें और दो बड़े भाइयों को छोड़ गया है। पिता की मृत्यु 12 साल पहले हो चुकी है। विपिन कुमार से बड़ा भाई भी लुधियाना के मेंटल हॉस्पिटल में दिमागी हालत न ठीक होने कारण इलाज हो रहा है।
मृतक विपिन कुमार की माता संध्या देवी के अनुसार उन्हें 4 अप्रैल 2023 को प्रशासन के माध्यम से पता चला कि विपिन पाकिस्तान की जेल में कैद है। उसकी दिमागी हालत ठीक न होने कारण इलाज हो चल रहा है, जिसके 4 दिन बाद पाकिस्तान की ओर से उनके मृत्यु की खबर आती है।
परिवार की ऐसी हालत नहीं थी कि जो मृत देह को पाकिस्तान से भारत ला सके। ऐसी हालत में प्रशासन द्वारा प्रयास करने के लगभग एक माह बाद मृतक देह उनके पैतृक गांव पहुंची, जहां विपिन का अंतिम संस्कार किया गया। मृतक की माता के अनुसार उन्होंने प्रशासन और सरकार से मदद की गुहार लगाई है।