शिमला, 02 अप्रैल : डिजिटलाइजेशन के इस युग में ऑनलाइन ठगी के मामलों में भी तेजी से इजाफा हो रहा है। शातिर आए दिन ठगी के नए-नए तरीके अपना रहे है। आपकी एक छोटी सी गलती से आपको लाखों की रकम पर से हाथ धोने पड़ सकते है। हिमाचल प्रदेश में ऑनलाइन ठगी के मामले बढ़ते जा रहे है , जिसको देखते हुए हिमाचल की साइबर क्राइम पुलिस ने अज्ञात नंबर से आने वाले लिंक से बचने की सलाह दी है।

दरअसल, शातिरों ने ठगी का यह नया तरीका अपनाया है। आपके फ़ोन पर अज्ञात नंबर से लिंक भेजे जाते है जिस पर कुछ इस तरह का मैसेज लिखा होता है जिसे देख आप उस पर क्लिक कर सकते है। ऐसा करने पर आपका स्मार्टफोन हैक हो सकता है। शातिर बैंक संबंधित फर्जी मैसेज के साथ इस लिंक को आपके फ़ोन पर भेजते है। जैसे ही आप इस पर क्लिक करते है तो आपके साथ ठगी होने की संभावना बढ़ जाती है और आपका बैंक खाता खाली भी हो सकता है।
साइबर पुलिस के पास इस तरह के दर्जनों मामले आ चुके हैं। जिसके मध्यनजर पुलिस लोगों को ठगी से बचने के लिए जागरूक करने की कोशिश कर रही है। पुलिस ने इस तरह के मैसेज से बचाने के लिए अलर्ट रहने की सलाह दी।
ये रखे सावधानी, ताकि न हो ठगी
पुलिस ने बताया कि बैंक,आधार और राशन कार्ड में दर्ज नंबर को व्हाट्सएप नंबर न रखे। इससे भी ठगी से बचा जा सकता है। अज्ञात नंबरों से आए लिंक को किसी भी सूरत में न खोले। अपने आधार कार्ड व बैंक खाते से लिंक नंबर को अधिक लोगों से सांझा न करें। ऑनलाइन ट्रांजेक्शन के लिए प्रयोग होने वाले एप्प्स को ध्यानपूर्वक इस्तेमाल करें। ठगी होने पर आम जनता 1930 नंबर एवं संबंधित थाने में शिकायत दर्ज करवा सकते हैं।
भूपेंद्र नेगी, एएसपी साइबर ने बताया कि क्लोनिंग, बिजली बिल, लक्की ड्रा,ट्रैफिक चालान, केवाईसी, कूरियर, विदेशों से कीमती सामान, केवाईसी अपडेट और एटीएम कार्ड लैप्स होने का झांसा देकर ठगी की जा रही है। शातिर ऑनलाइन के जरिए आधार और राशन कार्ड का डाटा चुराकर भी ठगी को अंजाम दे रहे है।