हमीरपुर, 15 मार्च : हिमाचल प्रदेश के JOA पोस्ट कोड 817 के अभ्यर्थियों का पैदल मार्च यात्रा बुधवार से शुरू हो गई है। इसके लिए प्रदर्शनकारी हमीरपुर स्थित हिमाचल कर्मचारी चयन आयोग के दफ्तर के बाहर इकट्ठे हुए। अभ्यार्थी शिमला तक पैदल यात्रा करेंगे। पदयात्रा में तकरीबन 150 से 200 बेरोजगार युवा हिस्सा ले रहे हैं। पदयात्रा आयोग के कार्यालय से शुरू हुई और हीरा नगर क्षेत्र से होती हुई शिमला के लिए रवाना हो गई है।

पदयात्रा पर निकले बेरोजगारों के हाथ में एक पोस्टर भी है, जिस पर छात्र सत्याग्रह लिखा हुआ है। लेकिन इसके नीचे स्टडी नाइट रिसर्च सेंटर सुंदरनगर का भी हवाला दिया गया है। अभ्यर्थी एक के बाद एक इस पदयात्रा में जुड़ते चले जाएंगे और शिमला में मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू से मिलेंगे। युवाओं का कहना था कि वे सरकार के समक्ष तर्क देकर अपनी बात रखेंगे। फिर भी यदि सरकार ने उनकी नहीं सुनी तो आंदोलन शुरू किया जाएगा।
सुप्रीम कोर्ट में मामला पेंडिंग
पोस्ट कोड 817 के अभ्यर्थियों के रिजल्ट का मामला सुप्रीम कोर्ट में पेंडिंग होने की वजह से घोषित नहीं हो पा रहा है। सरकार ने पिछले दिनों सुप्रीम कोर्ट में जो जवाब दायर किया है, उसमें गड़बड़ झाले की जांच का हवाला भी दिया गया है। उसी की वजह से अभ्यर्थी नाराज हैं। आज से शुरू होने वाली यह पदयात्रा 18 को शिमला पहुंचेगी, जहां अभ्यर्थी मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू से मिलेंगे। मामला यदि नहीं सुलझा तो यह अभ्यर्थी दिल्ली कूच करेंगे।
इस पदयात्रा के संचालक नीरज ठाकुर का कहना है कि हिमाचल में बेरोजगारों की स्थिति खराब हो रही है। पुरानी भर्तियों का अभी कोई पता नहीं चल पा रहा, इसलिए यह पदयात्रा शुरू की जा रही है। पुरानी भर्तियों के प्रोसेस को पूरा किया जाए। वही भंग किए गए हिमाचल कर्मचारी चयन आयोग को बहाल किया जाए। बेरोजगारी के मुद्दे पर सरकार चुप न बैठे। जिन बेरोजगारों को भर्ती प्रोसेस लंबित होने की वजह से नुकसान हो रहा है, उनका इंतजार शीघ्र खत्म किया जाए।