शिमला, 28 अगस्त : पूर्व विधायक आदर्श सूद ने शिमला शहर से कांग्रेस के टिकट की दावेदारी जताई है। आदर्श सूद ने रविवार को पत्रकार वार्ता में कहा कि वह साढ़े चार दशक से कांग्रेस से जुड़े हैं। शिमला नगर निगम के पहले मेयर रहे हैं। तीन बार शिमला के मेयर रह चुके हैं।
वर्ष 1996 के उपचुनाव में कांग्रेस ने उन्हें विधानसभा का टिकट दिया था और वे जीत कर भी आए। लेकिन उसके बाद उन्हें टिकट नहीं दिया गया। उन्होंने पार्टी के लिए हमेशा काम किया। इस बार वह कांग्रेस की टिकट के लिए आवेदन करेंगे। आदर्श सूद ने कहा कि वह पूरी निष्ठा के साथ कांग्रेस में काम कर रहे हैं और हाईकमान को उनके नाम पर विचार करना चाहिए।
उन्होंने शिमला स्मार्ट सिटी को लेकर सतारूढ़ भाजपा सरकार और शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज की घेराबंदी की। आदर्श सूद ने कहा कि शिमला के विकास के लिए स्मार्ट सिटी में पहली बार अत्यधिक फंड आया। लेकिन सरकार इस शहर को विकसित नहीं कर पाई। स्मार्ट सिटी के नाम पर कंकरीट की दीवारं लगाई गईं। लोहे के ब्रिज खड़े किए गए और इतना लोहा लगाया गया, जिसकी जरूरत ही नहीं थी। तीन गुणा लोहा लगा दिया गया।
स्मार्ट सिटी में नए बाजार, नई कालोनी बन सकती थी, सड़कों का जाल बिछ सकता था, लेकिन दूरदर्शिता की कमी से सरकार इसे करने में पूरी तरह नाकाम रही। उन्होंने स्मार्ट सिटी के कार्यों में घपले की भी आशंका जताई और कहा कि प्रदेश में कांग्रेस की सरकार बनने पर इन कार्यों की छानबीन करवाई जाएगी।
उन्होंने भाजपा सरकार पर ऑनलाइन कंपनियों को प्रोत्साहित करने के आरोप भी लगाए। कहा कि ऑनलाइन शॉपिंग से दुकानदारों व प्रदेश सरकार को काफी नुकसान होता है। यह कंपनियां थोक विक्रेता से सामान खरीदती हैं, जिनके स्टोर प्रदेश से बाहर है, जिससे उनकी बिलिंग आई जीएसटी लगाया जाता है, जो केंद्र को जाता है प्रदेश को इससे कुछ नहीं मिलता है। इससे सरकार के राजस्व को नुकसान पहुंच रहा है। उन्होंने कहा कि सरकार यह अनिवार्य करे कि ऑनलाइन सामान बेचने वाली कंपनियों का प्रदेश में कार्यालय या गोदाम हो, ताकि उनके सामान की बिलिंग यहां से कटे और इसका राजस्व प्रदेश सरकार को मिले।