शिमला, 27 जून : हिमाचल प्रदेश में फ्रॉड, ठगी या धोखाधड़ी की बढ़ती घटनाओं पर कानून का शिकंजा पूरी तरह नहीं कस पा रहा है। आये दिन ठगी के मामले सामने आते हैं और इसका शिकार व्यक्ति दूसरों के ठगों के झांसे में आकर अपनी जीवन भर की बहुमूल्य संपति को पल भर में गंवा देता है।
हाल के बहुचर्चित पुलिस भर्ती पेपर लीक प्रकरण में भी हिमाचल पुलिस ने धोखाधड़ी का केस दर्ज किया है। ठगी की घटनाओं के मामले आईपीसी की धारा 420 में दर्ज तो होते हैं, लेकिन इस अपराध में अभियुक्त आसानी से जमानत ले लेता है।
अब प्रदेश पुलिस विभाग आई.पी.सी. की धारा-420 को गैर जमानती अपराध बनाने की सिफारिश सरकार से करेगा। प्रदेश पुलिस महानिदेशक संजय कुंडू ने सोमवार को शिमला में प्रेस कांफ्रेंस में बताया कि इस संबंध में सी.बी.आई को भी पत्र लिखा है।
उन्होंने कहा कि अंग्रेजों ने जब कानून बनाया था, तो ये नहीं सोचा था कि इतना गंभीर अपराध हो जाएगा, जिनता आज उभर कर सामने आया है। डी.जी.पी. ने कहा कि आज देश में पेपर लीक मामला संगठित अपराध बन गया है। पकड़े जाने के बाद आरोपी बाहर आने पर फिर से इसी अपराध को अंजाम देते हैं। ऐसे में कानून में संशोधन करने की जरूरत है। गैर जमानती अपराध और सख्त कानून बनाए जाने से इसमें अंकुश लग सकेगा।
डी.जी.पी. ने कहा कि राजस्थान ने कुछ संशोधन किया है। इसके तहत 10 साल की सजा और प्रॉपर्टी अटैच किए जाने को भी प्रावधान किया गया है। संजय कुंडू ने कहा कि राजस्थान द्वारा किए गए संशोधन का अध्ययन किया जाएगा और सरकार से आवश्यक संशोधन करते हुए सख्त कानून की सिफारिश की जाएगी।