चंबा, 12 मई : बेटी की शादी के लिए पिता उम्र भर पाई पाई इकट्ठा करता है, ताकि बेटी को खुशहाल जीवन की सौगात दे सके। सोचिए, शादी से कुछ दिन पहले उनकी वही पूंजी गुम हो जाए, तो उस पिता पर क्या गुजरेगी। ऐसे में पिता को कोई मसीहा मिल जाए, जो उस राशि को लौटा दे। चंबा में ऐसा ही वाकया पेश आया है।
शहर के कश्मीरी मोहल्ला निवासी इदरीश मिर्जा ने ईमानदारी की मिसाल पेश की है। दरअसल, भरमौर निवासी होशियारा राम सोमवार को अपनी बेटी की शादी का सामान लेने बाजार आए थे। इसी दौरान व्यक्ति का बैग डोगरा बाजार के समीप गिर गया। जिसका होशियारा राम को कोई पता नहीं चल पा रहा था। कुछ देर बाद इदरीश मिर्जा अपनी दुकान से बाहर आए और उन्हें एक बैग दुकान के बाहर सड़क पर गिरा दिखा।
जब मिर्जा ने बैग को खोलकर देखा तो उसमे साढ़े छह लाख की नकद राशि थी। इदरीश मिर्जा ने बैग को उठाकर अपनी दुकान में रख लिया। कुछ देर बाद होशियारा राम डोगरा बाजार में आया और बैग तलाशने लगा। बैग न मिलने के कारण परेशान था। इसी दौरान इदरीश ने होशियारा राम को दुकान पर बुलाया और परेशानी का कारण पूछा। होशियारा राम ने पूरी बात इदरीश बताई। इसके बाद इदरीश ने पैसों से भरा बैग होशियारा राम के हवाले कर दिया। इदरीश की इस ईमानदारी की पूरे बाजार में प्रशंसा हो रही है।
कुल मिलाकर इदरीश की ईमानदारी काबिले तारीफ है। आम तौर पर इतनी बड़ी राशि देखकर किसी का भी ईमान डगमगा सकता है। लेकिन इदरीश मिर्जा ने न केवल ईमानदारी की मिसाल दी, बल्कि मानवता का बेमिसाल उदाहरण पेश किया है, जिसकी जितनी तारीफ की जाए कम है।