हमीरपुर, 30 जुलाई : नादौन उपमंडल की रंगस पंचायत के गांव वन्न, जंदली गुजरां, जंदली राजपूतां व ब्लौन के लोग सड़क सुविधा को तरस रहे हैं। नेशनल हाईवे थाईं मोड़ से इन पांच गांवों को करीब तीन किलोमीटर कच्ची सडक़ का निमार्ण लोक निमार्ण विभाग द्वारा किया गया है लेकिन सडक़ निकालने के बाद सरकार ने आज तक सुध नहीं ली है। पिछले करीब 40 वर्षो से गांव वासी स्वयं ही इस सडक़ का रखरखाव करते हैं।
सरकार से आज तक सिवाए आश्वाशन के कुछ नहीं मिला। जिसे लेकर लोगों में रोष व्याप्त है। गांव वासियों फांदी खां, पीर मोहम्मद, संजीव कुमार, अमर सिंह, अजय कुमार, लियाकतली, शौकतअली, अजीज खां विरेंदे कुमार आदि ने कहा कि वर्ष 1967-68 में सरकार ने जंगल से पेड़ों का कटान करवाकर सडक़ का निर्माण करवाया था। उसके बाद गांव वासी ही इस सडक़ को रिपेयर करते रहे।
उन्होंने कहा कि जब भी चुनाव का समय आता है तो पंचायत प्रतिनिधि से लेकर विधायक, सांसद तक आश्वाशन देकर चले जाते है परन्तु उसके बाद कोई सुध नहीं लेता है। अगर इन पांच गांवों में कोई अचानक बीमार हो जाता है या फिर किसी गर्भवती महिला की डिलीवरी होनी हो तो गांव वासियों का पालकी के सिवा और कोई साधन नहीं है।सरकार से कई बार गांव वासियों ने इस सडक़ को पक्का करने की गुहार लगाई परन्तु आज तक कोई सुनवाई नहीं हुई। लगभग 200 मीटर सडक़ जो कुछ साल पहले विभाग ने पक्की की थी वो भी उस स्थान पर मेडिकल कॉलेज बनने के कारण बंद कर दी गई है।
उस जगह पर मेडिकल कॉलेज वालों ने सडक़ का नामो-निशान ही मिटा दिया है। उस जगह को करीब 10 मीटर उंचाई तक मिट्टी से भर दिया गया है, जिसके चलते पांच गांवों का सम्पर्क अब पुरी तरह से टूट गया है। संसदीय चुनाव 2014 से पहले डीएफओ हमीरपुर, एसडीओ, पीडब्ल्यूडी नादौन आरओ वन विभाग नादौन ने गांव वासियों से मीटिंग की। जल्दी सडक़ पक्का करने का आश्वाशन दिया परन्तु सात साल बीत जाने के बाद भी इस पर कोई अमल नहीं किया गया।