नाहन, 05 जुलाई : “पंखों से कुछ नहीं होता, हौंसलों से उड़ान होती है” ये पंक्तियां सिरमौर के पच्छाद उपमंडल की बागपशोग पंचायत के निचला पांनवा निवासी शशिकांत शर्मा ने चरितार्थ की है। बेटे शशिकांत ने सिविल जज (Civil Judge) की परीक्षा (Exam) उत्तीर्ण कर न केवल अपने माता-पिता को गौरवान्वित (proud) किया है, बल्कि क्षेत्र का नाम भी रोशन किया है।

शशिकांत शर्मा पच्छाद उपमंडल के दूसरे व सराहां बार एसोसिएशन (Sarahan Bar Association) के पहले जज बने हैं। उनकी यह सफलता इसलिए भी खास व प्रेरणादायक (Inspirational) है, क्योंकि उन्होंने बिना कोचिंग (Coaching) के ये परीक्षा पास की है।
शशिकांत शर्मा ने पीजी कॉलेज नाहन (PG College Nahan) से 2006 में कला संकाय में स्नातक की। इसके बाद 2006 से 2009 में निजी संस्थान (Private Institutions) से क़ानूनी पढ़ाई की। 2009 से 2011 तक कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय से पत्राचार से एलएलएम किया।
2009 से सराहां तथा जिला कोर्ट (District Court) नाहन में प्रैक्टिस (Practice) भी शुरू कर दी। वर्ष 2020 में हिमाचल प्रदेश पब्लिक सर्विस कमीशन (HPPSC) द्वारा सिविल जज की लिखित परीक्षा (Written exam) ली गई थी। 1 से 3 जुलाई तक हिमाचल प्रदेश लोक सेवा आयोग द्वारा साक्षात्कार लिए गए। 3 जुलाई देर रात परीक्षा का परिणाम घोषित हुआ।
शशिकांत शर्मा ने एमबीएम न्यूज़ नेटवर्क को बताया कि वो रोजाना 5 से 6 घंटे सिविल जज की परीक्षा की तैयारियां करते थे। उन्होंने सफलता का श्रेय माता-पिता व परिजनों को दिया है। इसके साथ ही शशिकांत शर्मा ने बताया कि पिता रमेश दत्त विद्युत बोर्ड (Electric Board) से असिस्टेंट लाइनमैन (Assistant lineman) के पद से सेवानिवृत्त (Retired) हुए हैं, जबकि माता लीला शर्मा गृहणी है। उनके दो भाई प्रवीण शर्मा तथा श्याम दत्त हैं।
उन्होंने बताया कि वह तैयारियों के लिए अपने सीनियर्स की लाइब्रेरी (Library) का उपयोग करते थे। इसके साथ ही ऑनलाइन स्टडी (Online study) भी किया करते थे। बेटे के सिविल जज (Civil Judge) बनने पर उपमंडल में खुशी की लहर है। काफी लंबे अरसे के बाद इलाके से एक और युवा की जज के तौर पर नियुक्ति हुई है।