,नाहन, 11 जून : हिमाचल की राजनीति में पच्छाद विधानसभा क्षेत्र काफी मायने रखता है। कांग्रेस की सरकारों में जीआर मुसाफिर प्रतिनिधित्व करते रहे। वहीं अब भाजपा प्रदेश अध्यक्ष सुरेश कश्यप के अलावा बलदेव भंडारी भी मौजूदा सरकार में अहम ओहदों पर काबिज हैं। मगर इसी बीच एक ऐसी खबर आई है, जो झकझोर रही है।
बागपशोग की काटली गांव की एक महिला ने वीरवार सुबह जंगल में ही शिशु को जन्म दे दिया। प्रसूति में आंगनबाड़ी कार्यकर्ता के अलावा महिला की सास ने काफी हिम्मत दिखाई। तड़के सुबह 5 बजे के आसपास हुई डिलीवरी में 108 कर्मी भी मददगार साबित हुए। हालांकि ईएमटी व पायलट के पहुंचने से पहले प्रसूति हो चुकी थी, लेकिन ईएमटी ने मौके को संभाल कर नाल को अलग किया। हैरान कर देने वाली बात ये है कि आदर्श विधानसभा क्षेत्र माने जाने वाले पच्छाद में इस तरह की तस्वीर सामने आई है।
बता दें कि इसी पंचायत को देश का पहला शी हाॅट शुरू करने का श्रेय भी हासिल है। इस पंचायत में गांव तक एंबुलेंस भी नहीं पहुंच पा रही तो लाजमी तौर पर चिंता का विषय है। पारिवारिक जानकारी के मुताबिक विजय बाला ने सुबह 5 बजे के आसपास जंगल में ही बेटे को जन्म दिया। इसके बाद 108 की मदद से जच्चा व बच्चा को सराहां अस्पताल पहुंचाया गया। सराहां-डिलमन मार्ग पर मलाड़ी तक एंबुलेंस पहुंची थी।
ग्रामीणों का कहना है कि पानवा-धरोटी संपर्क मार्ग का सर्वे काफी अरसा पहले हो चुका है। मौजूदा पंचायत प्रधान ने ग्रामसभा में इसे प्राथमिकता में डाला है। उल्लेखनीय है कि काटली में अनुसूचित जाति की आबादी है। कई मर्तबा ऐसी खबरें अवश्य मिलती हैं जब 108 में किलकारी गूंजती हैं। मगर मौजूदा आधुनिक समय में इस तरह की खबरें निश्चित तौर पर बेहद ही पिछड़ेपन का अहसास करवाती हैं।
दीगर है कि गर्भवती महिलाओं की संस्थागत प्रसूति को लेकर कई योजनाएं भी चल रही हैं। गर्भवती महिलाओं की ट्रैकिंग भी होती है। फिर ऐसी स्थिति क्यों पैदा हो रही है, इस सवाल का जवाब तो सरकार ही दे सकती है।
उधर, एमबीएम न्यूज नेटवर्क से बातचीत में सराहां के खंड चिकित्सा अधिकारी डाॅ. संदीप शर्मा ने कहा कि जच्चा व बच्चा को अस्पताल में दाखिल किया गया है। 108 में जच्चा व बच्चा को अस्पताल पहुंचाया गया था। बीएमओ ने ये भी कहा कि दोनों ही स्वस्थ हैं।