सराहां, 14 मई : हाल ही में ओलावृष्टि से किसानों की फसलें तबाह हो गई। इससे मानगढ़ भी अछूता नहीं रहा। आडू, खुमानी, पलम व सेब की फसलें तबाह हो गई हैं। हालांकि पुख्ता तौर पर नहीं कहा जा सकता, लेकिन अगर किसानों व बागवानों की मानें तो 3 से 4 हजार सेब की पेटियां बर्बाद हुई हैं। टमाटर, शिमला मिर्च की फसलें भी नहीं बची हैं।

इलाके के रहने वाले हरिंद्र, राजेंद्र, सुरेश कांत, संजीव कांत, सुनील कांत, विनय भंडारी की मानें तो ओलावृष्टि से फसलों की तबाही के मंजर को कईयों ने अपने मोबाइल कैमरों में कैद कर लिया था। इसे एक-दूसरे को दिखाकर अपनी चिंता जाहिर कर रहे हैं। उनकी मानें तो ओलावृष्टि से इलाके में 20 लाख के आसपास की फसलों को नुक्सान हुआ है। उन्होंने कृषि व बागवानी विभाग से मौके का निरीक्षण करने के बाद उचित मुआवजे की मांग की है।
मानगढ़ के रहने वाले विनय भंडारी का कहना है कि जहां एक तरफ कोविड संकट चल रहा है, वहीं फसलों के तबाह होने से हर घर में मायूसी फैली हुई है। उनका कहना था कि हर कोई इस बात से चिंतित है कि परिवार का लालन-पोषण कैसे होगा।