नाहन/शिमला, 7 जनवरी : हिमाचल प्रदेश में सर्व सम्मति से पंचायतों के गठन में 35 का आंकड़ा देकर सिरमौर 3 करोड़ 50 के ईनाम का हकदार हो गया है। अगर, ट्राइबल जिलों किन्नौर व लाहौल-स्पीति को छोड़ दिया जाए तो बाकी 10 जिलों में सिरमौर सर्वश्रेष्ठ है।
259 में से 35 पंचायतें निर्विरोध है। इन पंचायतों ने आपसी भाईचारे की मिसाल तो पेश की ही है, साथ ही यह भी साबित किया है कि वैश्विक महामारी में घर से निकलकर मतदान न कर भी अपना दायित्व निभाएंगे। प्रदेश में 3,615 पंचायतों में से 102 को सर्वसम्मति से चुना गया है। प्रदेश में निर्विरोध चुने जाने का आंकड़ा 2 से 5% के बीच है। जबकि सिरमौर में यह आंकड़ा 14 फ़ीसदी के आसपास रहा है।
एक पंचायत ऐसी भी है, जहां प्रधान का कोई नामांकन पत्र नहीं मिला। शेष पंचायत निर्विरोध है। मतदाता सूची में सर्व सम्मति से चुने गए प्रधान का नाम अंकित नहीं था। इसी कारण पंचायत उप चुनाव का इंतजार करने को भी तैयार है। 35 में से शिलाई व पांवटा खंड ने 11-11 का आंकड़ा हासिल किया है।
शिलाई की बांबल, धार, कोटीबौंच, धरवा, नैनीधार, पनोग, कुंठ, शखोली, कांडो भटनोल, शिलाई व मिल्लाह पंचायतों को निर्विरोध चुना गया है। पांवटा खंड में कोड़गा, सखोली, टारू डांडा आंज, टटियाना, मधाना, भजौण, भरली अगरो, ठोंठा जाखल, भैला, चांदनी व कटवाड़ी बगात शामिल हैं। खास बात यह है कि शिलाई व पांवटा खंड में निर्विरोध चुनी गई पंचायतों का ताल्लुक ट्रांसगिरि से है।
नाहन खंड में केवल बगड़ पंचायत को ही निर्विरोध चुना गया है। इसके अलावा संगड़ाह में सांगना, बडौल, अंधेरी, छोउ भोगर, दिउडी खडाहं निर्विरोध रही हैं। पच्छाद में शिना, लाना भल्टा को निर्विरोध चुना गया। वहीं, राजगढ़ में टाली भुज्जल, देवठी मझगांव, जदोल टपरोली, नहरपाब व डिंबर पंचायतें निर्विरोध हैं। इसी बीच सिरमौर के जिला पंचायत अधिकारी अंचित डोगरा ने कहा कि बेहद ही खुशी की बात है कि 35 पंचायतें निर्विरोध चुनी गई हैं। उन्होंने निर्विरोध चुने गए पंचायतों के प्रतिनिधियों को बधाई दी है।
ऐसे सिरमौर बना सिरमौर…
हिमाचल में पंचायत चुनाव से पहले 102 पंचायतें और 54 बीडीसी सदस्य निर्विरोध निर्वाचित हुए हैं। हमीरपुर और चम्बा जिलों को छोड़कर अन्य सभी 10 जिलों में पंचायतों का निर्विरोध चयन हुआ है। सबसे ज्यादा 35 पंचायतें जिला सिरमौर में चयनित हुई हैं। किन्नौर में 23, मंडी व शिमला में 12-12, लाहौल-स्पीति में 11, ऊना में 2, सोलन में 3, बिलासपुर में 2, कुल्लू में 1 ग्राम पंचायत निर्विरोध निर्वाचित हुई हैं। 814 पंचायतों वाले सबसे बड़े जिला कांगड़ा में महज 1 ग्राम पंचायत ही निर्विरोध चुनी गई है।
लाहौल-स्पीति के स्पीति ब्लॉक की 13 पंचायतों में ही चुनाव हुए हैं। इस लिहाज से स्पीति मंडल में 85 फीसदी से अधिक पंचायतें निर्विरोध चयनित हुई हैं। किन्नौर जिला की 31 फीसदी, सिरमौर की 13 फीसदी, मंडी व शिमला की 2-2 फीसदी पंचायतें निर्विरोध निर्वाचित हुई हैं।
निर्विरोध चयन पर प्रत्येक पंचायत को दस लाख रुपये का इनाम मिलेगा। ऐसे में जिले में 102 पंचायतों का गठन होने पर विकासात्मक कार्यों के लिए 10, 200 लाख रुपये बतौर इनाम मिलेंगे। राज्य चुनाव आयोग के आकंड़े के मुताबिक राज्य में 14 ग्राम पंचायतें ऐसी हैं, जहां केवल प्रधान निर्विरोध चुने गए हैं। इसी तरह 30 पंचायतों में उपप्रधानों और 54 बीडीसी सदस्यों का चयन निर्विरोध हुआ है।
इसके साथ ही पंचायत चुनाव के लिए उम्मीदवारों की फाइनल लिस्ट फाइनल हो गई है। पंचायत चुनाव में 89,851 उम्मीदवार किस्मत आजमा रहे हैं। बीते कल 4312 उम्मीदवारों ने नाम वापिस लिए। वहीं 299 उम्मीदवारों के नामांकन रद्द हुए हैं। हिमाचल चुनाव आयोग के चुनाव अधिकारी संजीव महाजन ने पुष्टि करते हुए बताया कि राज्य में 102 पंचायत निर्विरोध चुनी गई है।