शिमला : पूर्व स्वास्थ्य निदेशक डॉ. एके गुप्ता के पांच लाख की रिश्वत मांगने वाले वायरल आडियो की फारेंसिक जांच होगी। वायरल ऑडियो को शिमला की जुन्गा या किसी अन्य फारेंसिक लैब में भेजा जाएगा। विजिलेंस आरोपी के खिलाफ पुख्ता सबूत जुटाने में लगी है। लेन-देन की वायरल ऑडियो का विजिलेंस फारेंसिक जांच करवाएगी, ताकि मामले में लीड मिल सके।
विजिलेंस ने पूर्व निदेशक के कब्जे में लिए गए मोबाइल फोन को भी फारेंसिंक जांच के लिए जुन्गा प्रयोगशाला भेजने का निर्णय लिया है। सूत्रों की मानें तो तफ्तीश के दौरान पूर्व निदेशक के मोबाइलों से ऐसे कोई साक्ष्य नहीं मिले, जिससे मामले की परतें खुल सकें। लिहाजा मोबाइलों की फारेंसिंक जांच से विजिलेंस को क्लू मिलने की उम्मीद है।
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार वायरल ऑडियो में आरोपी के साथ संवाद करने वाले व्यक्ति ने विजिलेंस के समक्ष पूछताछ में कई खुलासे किए हैं। यह भी पता चला है कि लेने देने का यह मामला पीपीई किट की आपूर्ति से जुड़ा है। हालांकि अधिकारिक तौर पर अभी कोई कुछ कहने का तैयार नहीं है। गिरफ्तारी के बाद से आरोपी आईजीएमसी में एडमिट है। वह पांच दिन की न्यायिक हिरासत में चल रहा है। सोमवार को न्यायिक हिरासत की अवधि पूरी हो जाएगी। ऐसे में विजिलेंस आरोपी को कोर्ट में पेश करेगी। घोटाले की जांच के हिसाब से सोमवार को दिन अहम होगा।