उपमंडल की ग्राम पंचायत मांगू के अंतर्गत मांगुघाट में अम्बुजा सीमेंट की खदान में हुई ब्लास्टिंग के कारण चट्टान खिसक कर मुख्य सड़क पर आ गिरी। चट्टान का एक हिस्सा टूट कर सड़क से सटे राकेश कुमार के मकान को भेदता हुआ दूसरी तरफ से निकल कर खेतों में जा पहुचा। गनिमत रही कि मुख्य सड़क भी खाली थी और मकान व खेतों में भी उस समय कोई व्यक्ति मौजूद नही था। चट्टान का दूसरा हिस्सा एक अन्य रिहायशी मकान से कुछ कदमों की दूरी पर डंगे की वजह से रुक गया।ब्लास्टिंग के कारण सड़क पर गिरी चट्टान
स्थानीय लोगों मेंं भगत राम,संजीव,राजू,पवन,राकेश के अनुसार चट्टाने खिसकने के समय एक अन्य घर पर बजुर्ग महिला मौजूद थी, जिसे मकान में भारी कम्पन महसूस हुआ। घबराहट के कारण उसे हृदय घात हुआ है, जिसका उपचार एक निजी अस्पताल में चल रहा है।उन्होंने बताया कि कंपनी रोज डेढ बजे के आसपास नवनिर्मित इस खदान में भारी मशीनों और हाई वीलोसिटी के धमाके कर खनन कार्य करती है।
जिसकी वजह से चट्टाने खिसक कर रिहायशी इलाके की तरफ गिरतीं है। पहले भी कई बार भारी चट्टाने खिसक कर घरों तक पहुच चुकी है। कम्पनी ने सुरक्षा के भी पुख्ता प्रबन्ध नही किये हैं, जिसकी वजह से ग्रामीणों को जान-माल का खतरा उतपन्न हो गया है। समस्या से प्रशासन को भी अवगत करवाया गया था एसडीएम अर्की छवि नांटा मौके पर पहुची थी।
कुछ दिन काम बंद रहा, लेकिन दोबारा शुरू कर दिया गया है। कम्पनी प्रबन्धन उनकी बात को अनसुना कर रहा है। कम्पनी प्रबन्धन की मंशा उन्हें परेशान कर उनकी जमीन ओने-पोने दाम में हथियाने की लगती है। उन्होंने प्रशासन और कम्पनी प्रबन्धन से खदान में खनन के लिए लो वीलोसिटी केे धमाके और हल्की मशीनों का उपयोग करने की मांग की है ताकि जान-माल के नुकसान से ग्रामीणों को बचाया जा सके।
इस बारे में जब कम्पनी प्रबन्धन से फोन पर बात करनी चाही तो कम्पनी के वाईस प्रेसिडेंट संजय विशिष्ट ने फोन नही उठाया। इस पर एसडीएम अर्की छवि नांटा का कहना था कि उन्हें इसकी जानकारी नही है अधिकतर परिवारों को जमीन का उचित मुआवजा देकर दूसरी जगह शिफ्ट किया गया है। एक-दो परिवारों को शिफ्ट नही किया जा सका है। इनकी सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए निर्देश जारी किए जाएंगे।