नितेश सैनी /सुंदरनगर
सन 1965 में बीबीएमबी ने हिमाचल में अपना बिजली प्रोजेक्ट बनाना शुरू किया। 7 अगस्त 1977 को पंडोह डैम से बीएसएल नहर में पानी छोड़ा गया। नहर बनने से कई लोग विस्थापित हुए और उन्हें अपने घर छोड़ दूसरे स्थानों पर शिफ्ट कर दिया था। बीबीएमबी का हिमाचल में अपना प्रोजेक्ट लगाने का मुख्य उद्देश्य बिजली उत्पादन करना था। इस क्षेत्र में बीबीएमबी को सफलता भी मिली।
सन 1967 में बीबीएमबी ने लोगो के घर के ऊपर से बिजली की हाई वोल्टेज तारे डाल दी, जिनको हटाने की माँग सुंदरनगर उपमंडल की जुगाहण की जनता सन 1981 से कर रही है। मगर बीबीएमबी और प्रदेश में रही भाजपा और कांग्रेस की सरकारो ने ग्रामीणों की मांगो को अनदेखा किया।
पिछले चार दशकों से ग्रमीणों के घरों व खेतों के ऊपर से बीबीएमबी की हाईवोल्टेज तारे गुजर रही है। जिनको हटाने के लिए ग्रमीणों ने कई बार बीबीएमबी के अधिकारियों और कई बार प्रदेश की सरकार को इस बारे अवगत करवाया। घरों के ऊपर से गुजर रही हाईवोल्टेज तारो से घरों को करंट आ रहा है, जिसकी वजह से ग्रामीण अपने घर छोड़ने को मजबूर हो चुके है।
ग्रामीणों का कहना है कि क्षेत्र में झूल रही बिजली की तारों से कभी भी कोई अनहोनी घटना घटित हो सकती है। अगर ऐसा हुआ तो उसके लिए बीबीएमबी प्रबंधन जिम्मेदार होगा। लोगो का कहना है की बीबीएमबी ने हमारी हजारो बीघा जमीन ली और उसके बदले मात्र परेशानी ही दी है।
ग्रमीणों का कहना है की हाल ही में बीबीएमबी के चेयरमैन को ग्रमीणों द्वारा शिकायत पत्र दिया गया था। बीबीएमबी ने फरमान जारी किया है कि ग्रामीण अपने स्तर पर तारों का सर्वे करवा बीबीएमबी को रिपोर्ट सौंपे। ग्रामीण देवी सिंह का कहना है हमारी पूरी जमीन बीबीएमबी प्रोजेक्ट में चली है। जहां पर जमीन मिली उसके ऊपर से बीबीएमबी ने अपनी हाईवोल्टेज तारे डाल दी। जिसको हटाने की मांग हम सन 1981 से कर रहे है, लेकिन आज तक इस दिशा में बीबीएमबी ने कोई कदम नहीं उठाया। जुगाहण पंचायत के उपप्रधान श्याम लाल का कहना है कि भरजवाणु गाँव के ग्रामीण पिछले चार दशक से हाईवोल्टेज तारों को हटाने के लिए अपने हक़ की लड़ाई लड़ रहे है।
ग्रामीणों ने कई बार विधायक, सांसद, सीएम व बीबीएमबी के चेयरमैन से गुहार लगाई, लेकिन आज तक इन्हें सिर्फ आश्वाशन ही मिला। शीतला महिला मंडल की प्रधान सुनीता देवी का कहना है की ग्रामीण पिछले 40 साल से अपनी मालकियत की भूमि से तारों को हटाने की लड़ाई लड़ रहे है। घर के ऊपर चढ़ने से करंट लग रहा है।
ग्रामीणों ने सरकार से गुहार लगाई कि जल्द से जल्द इस समस्या का हल किया जाए, नहीं तो ग्रामीण घर छोड़ने को मजबूर हो जाएंगे और कोर्ट जाने को मजबूर होंगे। कई बार ग्रमीणों को धमकाने के लिए बीबीएमबी ने पुलिस का सहारा भी लिया। हर बार शिकायत करने पर साथ लगते पेड़ काटे गए।