बद्दी(एमबीएम न्यूज़ ): इंटक के जिलाध्यक्ष बबलू पंडित की अगुवाई में वीरवार को सैंकड़ों मजदूरों ने इंटक के प्रांत अध्यक्ष हरदीप बावा के खिलाफ जोरदार प्रदर्शन किया। मजदूरों व इंटक पदाधिकारियों ने जोरदार नारेबाजी कर इंटक के नाम पर गुंडागर्दी, 5 साल तक उद्यमियों व कामगारों को गुमराह करने और अपनी रोटियां सेंकने के आरोप जड़े।
मजदूरों के जनसमूह को संबोधित करते हुए इंटक के जिलाध्यक्ष बबलू पंडित ने कहा कि वर्ष 2007 में कांग्रेस के केंद्रीय नेतृत्व ने इंटक को भंग कर दिया था। जिसके बाद कांग्रेस सुप्रीमो सोनिया गांधी और कांग्रेस अध्यक्ष राहुल कांग्रेस ने इंटक की कमान दिनेश शर्मा सुंदरियाल को सौंपी थी।
पंडित ने कहा कि इंटक की आड़ में प्रदेश की इकाई ने जहां मजदूर हितों को बेच कर जहां उद्योगों से चंदे के रुप में कमाई करके अपनी राजनीति चमकाई। पंडित ने कहा कि अब इंटक की यह गुंडागर्दी और मजदूर हितों के नाम पर की जाने वाले कथित उगाही अब नहीं चलेगी। पंडित ने कहा कि इंटक मजदूर हितों के लिए एकजुट होकर लड़ेगी।
मजदूरों को उनका हक ईएसआई, पीएफ, न्यूनतम मजदूरी बढ़ाने, उद्योगों द्वारा रिहायशी सुविधा उपलब्ध करवाने, देर तक डयूटी देने वाली महिलाओं को सुरक्षित घरों तक पहुंचाने, ठेकेदारी प्रथा को बंद करने समेत अन्य मुद्दों पर संघर्ष किया जाएगा। बबलू पंडित ने कहा कि अब बीबीएन समेत पूरे जिला में मजदूर वर्ग अकेला नहीं है।
मजदूरों के हितों की रक्षा के लिए इंटक दिन रात कंधा से कंधा मिलाकर कामगारों के साथ खड़ी है। इंटक के जिला उपाध्यक्ष वरूण कालिया व दून इंटक अध्यक्ष गुरपाल लवाणा ने कहा कि श्रमिकों और उद्यमियों में बेहतर तालमेल बनाया जाएगा। इंटक कतई इस हक में नहीं कि उद्योगों को तंग किया जाए, अगर उद्योग चलेंगे तभी मजदूरों के परिवार भी चलेंगे। इंटक का यह प्रयास रहेगा की श्रमिकों और उद्यमियों से बेहतर तालमेल बनाकर मजदूरों को उनका हक दिलाया जाए।
हाईकोर्ट से है अमान्य, सुप्रीम कोर्ट का फैसला है अभी बाकी : ऋषिकेश वर्मा
इंटक के राष्ट्रीय महासचिव ऋषिकेश वर्मा ने दूरभाष पर हुई बातचीत में बताया कि वर्ष 2007 में कांग्रेस हाईकमान ने जी. संजीवा रेड्डी की इंटक को अवैध घोषित कर दिया था। जिसका बाद वर्ष 2012 में संजीवा रेड्डी हाईकोर्ट में भी केस हार गए थे और हाईकोर्ट ने संजीवा रेड्डी की इंटक को अमान्य घोषित कर दिया था।
उन्होंने बताया यह मामला सुप्रीम कोर्ट में विचाराधीन है जिस पर अभी तक फैसला आना बाकी है। कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी ने अब इंटक की कमान दिनेश शर्मा सुंदरियाल को सौंपी है और हाईकमान के आदेश से पूरे देश में इंटक कांग्रेस के लिए काम कर रही है।