नाहन : कालाअंब-पांवटा साहिब हाईवे पर स्थित प्राचीन कटासन देवी मंदिर में देश की आंखों का तारा बन चुकी रानू मंडल ने लगभग दो साल का वक्त गुजारा है। यह दावा मंदिर के समीपवर्ती गांव के रहने वाले लोग कर रहे हैं। पूरे दावे से सतीवाला के रहने वाले बच्ची राम ने एमबीएम न्यूज नेटवर्क से बातचीत में कहा कि करीब दो साल पहले अचानक कटासन से गायब हो गई थी। अक्सर मंदिर की सराय में रात गुजारती थी तो कई मर्तबा हाईवे किनारे वर्षाशालिका में भी सो जाती थी।
क्षेत्र के लोग रानू मंडल की कामयाबी में मां कटासन देवी का आशीर्वाद भी मान रहे हैं। लोगों की मानें तो उस समय रानू मंडल की मानसिक स्थिति ठीक नहीं थी। क्षेत्र के लोगों का महिला से एक रिश्ता सा बन गया था। लिहाजा, हरेक शख्स उसके खाने-पीने की व्यवस्था करने में कोई संकोच नहीं दिखाता था। बच्ची राम का कहना यह भी है कि उस समय वो अपनी भाषा में ही गाती थी। उसकी भाषा लोगों को समझ नहीं आती थी, लेकिन अक्सर उसे गुनगुनाते देखा जाता था। उन्होंने कहा कि जब वीडियो देखा तो तुरंत ही इलाके के लोगों ने उसे पहचानने में देरी नहीं दिखाई।
लोगों का यह भी कहना है कि अब तो रानू मंडल के कई रिश्तेदार सामने आ गए हैं, लेकिन उस समय वो कुदरत के भरोसे ही थी। सतीवाला के रहने वाले बच्ची राम का यह भी कहना है कि अब लगता है कि मां के आशीर्वाद से ही रानू मंडल आज इस मुकाम तक पहुंच गई है, जिसकी कल्पना नहीं की जा सकती थी। बहरहाल, एमबीएम न्यूज नेटवर्क अपने स्तर पर इसकी तस्दीक नहीं करता है कि इलाके में रही महिला रानू मंडल ही थी, जब तक वो खुद इस बात को स्वीकार नहीं करती।