अभिषेक मिश्रा/ बिलासपुर
फ्रैड़स चैरिटी एंव इंडिया ब्लड ग्रुप की स्थापना करने वाले रितिक शर्मा को कोलकाता में मानव रत्न सम्मान 2018 से सम्मानित किया गया है। कोलकाता की संस्था मानव एकता फाउंडेशन के अध्यक्ष नंद लाल अग्रवाल ने एक समारोह में उन्हें सम्मानित किया। जिला के अंतिम छोर पर स्थित पंचायत मरहाना के गांव मंझोटी मरहाना के रहने वाले युवा रितिक शर्मा 36 बार रक्तदान कर चुके है। साथ ही पूरे भारत वर्ष में एक रक्त सेवकों की टीम भी चला रहे है। जो हर समय लोगों की सेवा में तत्पर रहती है।
रितिक के माता-पिता राजनीति मे अच्छी पैठ रखते है। आजकल उनके पिता विक्रम शर्मा भारत सरकार के वाणिज्य मंत्रालय के तहत गठित कॉफी बोर्ड के निदेशक है। उनकी माता इंदु शर्मा पूर्व मे हट़बाड़ वार्ड से जिला परिषद बिलासपुर की सदस्य रही हैं। फ्रैड़स चैरिटी एंव इंडिया ब्लड ग्रुप की स्थापना के बारे में रितिक ने बताया कि यह बात लगभग तीन वर्ष पूर्व की है। तब इस स्ंस्था को तीन दोस्तों ने मिल कर शुरू किया था। लेकिन अब यह संख्या लाखों मे पंहुच चुकी है।
रितिक ने बताया कि वो अब तक 36 बार रक्तदान कर चुके हैं। उन्होंने कहा कि 17 वर्ष की उम्र मे घरवालों से झूठ बोलकर पहली बार रक्तदान किया था। उन्होंने अखबार में एक खबर पढ़ी थी कि रक्त की कमी से एक व्यक्ति की मृत्यु हुई थी, बस तभी से कुछ करने की मन में इच्छा हुई और इसके लिए काम करना आरंभ कर दिया। रितिक शर्मा द्वारा रक्त सेवकों की टीम का गठन 3 वर्ष पूर्व किया था जो शुरुआत में केवल 3 लोगों से शुरू हुई थी। जिसकी संख्या अब लाखों में हो चुकी है। पूरे भारत वर्ष में रक्त की कमी को देखकर मित्रों द्वारा लिया गया संकल्प आज सब के लिए एक सहायता बन चुका है।
रक्तदान के साथ-साथ रितिक शर्मा अन्य समाजिक सेवा कार्यक्रम मे भाग लेते हैं। जिसमे गरीब व असहाय लोगों की सहायता, जरूरत मंद लोगों को कपड़े व गरीबो को कम्बल बांटना आदि शामिल है। इस के अलावा चंडीगढ़ पीजीआई अस्पताल में इलाज के लिए आये दूर-दराज के मरीजों की सेवा उनके खाने के प्रबंध के साथ रहने का प्रबंध भी शामिल है।
आर्थिक रूप से पिछड़े परिवारों को आर्थिक मदद मुहैया करवाना, गरीब परिवारों के सदस्यों का इलाज करवाना भी इनके कार्यों में सम्मिलित है। रितिक होम्योपैथिक मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल चंडीगढ़ में तृतीय वर्ष में शिक्षा ग्रहण कर रहा है।